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Padma Shri Award 2025: छत्तीसगढ़ के पंडी राम मंडावी को मिलेगा पद्मश्री पुरस्कार, 12 साल की उम्र में सीखा हुनर, जानिए इनका योगदान…

Padma Shri Award 2025: छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले के रहने वाला पंडी राम मंडावी को पद्मश्री सम्मान से नवाज गया है। उन्होंने 12 साल की उम्र में यह कला सीखी थी। वह गोंड मुरिया जनजाति से आते हैं। पद्मश्री सम्मान मिलने पर सीएम विष्णुदेव साय ने उन्हें बधाई दी है। उन्होंने कहा कि यह पूरे छत्तीसगढ़ के लिए गौरव का क्षण है।

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Padm Shri Award 2025: छत्तीसगढ़ के पंडी राम मंडावी को मिलेगा पद्मश्री पुरस्कार, 12 साल की उम्र में सीखा हुनर, जानिए इनका योगदान

Padma Shri Award 2025: केंद्र सरकार ने शनिवार को देश के प्रतिष्ठि पुरस्कार पद्मविभूषण, पद्मभूषण और पद्मश्री के नामों की घोषणा की। पद्मश्री पुरस्कारों की सूची में छत्तीसगढ़ के नारायणपुर जिले के गोंड मुरिया जनजाति के जाने-माने कलाकार पंडी राम मंडावी का नाम शामिल है।

यह प्रतिष्ठित सम्मान उन्हें पारंपरिक वाद्ययंत्र निर्माण और लकड़ी की शिल्पकला के क्षेत्र में उनके उल्लेखनीय योगदान के लिए दिया जाएगा। इस उपलिब्ध पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने बधाई दी है। पंडी राम मंडावी पिछले पांच दशकों से बस्तर की सांस्कृतिक धरोहर को न केवल संरक्षित कर रहे हैं, बल्कि उसे नई पहचान भी दिला रहे हैं। उनकी विशेष पहचान बांस की बस्तर बांसुरी, जिसे ’सुलुर’ कहा जाता है के निर्माण में है। इसके अलावा, उन्होंने लकड़ी के पैनलों पर उभरे हुए चित्र, मूर्तियां और अन्य शिल्पकृतियों के माध्यम से अपनी कला को वैश्विक स्तर पर पहुंचाया है। उनकी उम्र 68 वर्ष है।

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आठ से अधिक देशों में कला का प्रदर्शन

एक सांस्कृतिक दूत के रूप में मंडावी ने अपनी कला का प्रदर्शन 8 से अधिक देशों में किया है। साथ ही, अपने कार्यशाला के जरिए 1 हजार से अधिक कारीगरों को प्रशिक्षण देकर इस परंपरा को नई पीढ़ियों तक पहुंचाने का कार्य किया है। पंडीराम मंडावी ने मात्र 12 वर्ष की आयु में अपने पूर्वजों से यह कला सीखी और अपने समर्पण व कौशल के दम पर छत्तीसगढ़ की कला और संस्कृति को नई ऊंचा पहुंचाया।