Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

गुरपतवंत पन्नू की हत्या: अमेरिकी इनपुट पर भारत की जांच पूरी, एक शख्स का आया नाम, पर सरकार ने नहीं बताया

Pannun Assassination Plot: बुधवार को गृह मंत्रालय ने कहा कि संबंधित व्यक्ति की पहचान नहीं बताई गई है। अमेरिकी अधिकारियों ने पहले विकास यादव की कथित संलिप्तता पर भारत सरकार के साथ जानकारी साझा की थी, जिसे भारतीय खुफिया एजेंसी रॉ का पूर्व जासूस बताया गया था।

2 min read
Google source verification
Pannun Assassination Plot

Pannun Assassination Plot

Gurpatwant Singh Pannun: खालिस्तानी आतंकी गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या की कथित साजिश पर अमेरिका द्वारा दिए गए इनपुट की जांच करने के लिए केंद्र सरकार द्वारा गठित एक उच्चस्तरीय समिति ने अपनी रिपोर्ट सौंप दी है। समिति ने एक व्यक्ति के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की सिफारिश की है। बुधवार को गृह मंत्रालय ने कहा कि संबंधित व्यक्ति की पहचान नहीं बताई गई है। अमेरिकी अधिकारियों ने पहले विकास यादव की कथित संलिप्तता पर भारत सरकार के साथ जानकारी साझा की थी, जिसे भारतीय खुफिया एजेंसी रॉ का पूर्व जासूस बताया गया था।

18 नवंबर को उच्च स्तरीय समिति का किया था गठन

भारत सरकार ने मामले के सभी प्रासंगिक पहलुओं और कथित साजिश पर अमेरिका द्वारा साझा की गई जानकारी की जांच करने के लिए 18 नवंबर को एक उच्च स्तरीय समिति का गठन किया । गृह मंत्रालय ने कहा कि इस समिति ने अपनी जांच की और अमेरिकी पक्ष द्वारा दिए गए सुरागों का भी अनुसरण किया। गृह मंत्रालय ने कहा इसमें अमेरिकी अधिकारियों से पूरा सहयोग मिला और दोनों पक्षों ने एक-दूसरे का दौरा भी किया। समिति ने विभिन्न एजेंसियों के कई अधिकारियों से पूछताछ की और इस संबंध में प्रासंगिक दस्तावेजों की भी जांच की।

जांच समिति ने की सिफारिश

गृह मंत्रालय ने अपने बयान में कहा लंबी जांच के बाद समिति ने सरकार को अपनी रिपोर्ट सौंपी और एक व्यक्ति के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की सिफारिश की, जिसके पिछले आपराधिक संबंध और पृष्ठभूमि भी जांच के दौरान सामने आई। जांच समिति ने सिफारिश की है कि कानूनी कार्रवाई तेजी से पूरी की जानी चाहिए।

निखिल गुप्ता को लिया था हिरासत में

गुरपतवंत सिंह पन्नू की हत्या के प्रयास से संबंधित मामले में निखिल गुप्ता का नाम सामने आया था, जिसे पहली बार जून 2023 में प्राग में हिरासत मेंल लिया गया था और बाद में अमेरिका को प्रत्यर्पित किया गया था।

यह भी पढ़ें-फर्जी कोर्ट, टोल बूथ, पीएमओ अफसर के बाद अब फर्जी कॉलेज, मध्य प्रदेश में चल रहा बड़ा कॉलेज घोटाला?