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Independence Day 2021: दो साल तक पाकिस्तान ने भी 15 अगस्त को ही मनाया स्वतंत्रता दिवस, जानिए क्या थी वजह

Independence Day 2021 पाकिस्‍तान के संस्थापक मोहम्‍मद अली जिन्‍ना ने भी 15 अगस्‍त को ही पाकिस्‍तान का स्‍वतंत्रता दिवस माना, पहले दो साल इसी दिन स्वतंत्रता दिवस के तौर पर मनाया गया, पहला स्टैंप जारी हुआ उसमें भी इसी दिन का उल्लेख है

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Independence Day 2021

Independence Day 2021

नई दिल्ली। देश आज स्वतंत्रता दिवस ( Independence Day 2021 ) की 75वीं वर्षगांठ मना रहा है। लेकिन क्या आप जानते हैं भारत से अलग हुए पाकिस्तान का स्वतंत्रता दिवस भी 15 अगस्त ही था। इसी दिन हिंदू बहुल राष्ट्र के तौर पर भारत और मुस्लिम बहुल राष्ट्र के तौर पर पाकिस्तान अस्तित्व में आए। यही नहीं शुरुआती दो वर्षों तक पाकिस्तान में भी 15 अगस्त को ही आजादी का जश्न मनाया।

हालांकि पाकिस्तान के संस्थापक मोहम्मद अली जिन्ना के निधन के बाद पाकिस्तान ने 14 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस मनाना शुरू कर दिया।

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पाकिस्तान में आजादी के अगले 02 वर्षों तक ये असमंजसम बना रहा कि स्वतंत्रता दिवस 14 को मनाया जाए या फिर 15 को। हालांकि पाकिस्तान के संस्थापक मुहम्मद अली जिन्ना ( Muhammad Ali Jinnah ) ने पहले स्वतंत्रता दिवस पर अपने संदेश में 15 अगस्त को ही पाकिस्तान के आजादी का दिन कहा था।

आजादी के बाद, उन्‍होंने अपने पहले रेडियो ब्रॉडकास्‍ट में कहा, '15 अगस्‍त स्‍वतंत्र और संप्रभु पाकिस्‍तान का जन्‍मदिन है। यह दिन उस मुस्लिम राष्‍ट्र के मुकाम का प्रतीक है जिसने पिछले कुछ सालों में अपनी मातृभूमि पाने के लिए महान बलिदान किए हैं।'

यही वजह रही कि शुरुआती दो वर्षों में पाकिस्तान में 15 अगस्त को स्वतंत्रता दिवस मनाए गए।


पाकिस्तानी कैबिनेट ने भी 15 अगस्‍त, 1947 की सुबह शपथ ली। इसके साथ ही पाकिस्‍तान ने जुलाई 1948 में जो पहली यादगार पोस्‍टल स्‍टैंप जारी की, उसमें भी 15 अगस्‍त 1947 को स्‍वतंत्रता दिवस बताया गया।


आखिर ऐसी क्या वजह रही कि 15 अगस्त को आजादी मिलने के बावजूद पाकिस्तान ने भारत से एक दिन पहले खुद को आजाद घोषित कर दिया।
दरअसल माना जाता है कि पाकिस्तान की ओर से 14 अगस्त को आजादी दिवस मनाने की दो वजहें हो सकती हैं। पहला 14 अगस्त, 1947 को कराची में सत्ता-हस्तांतरण का कार्यक्रम आयोजित हुआ था।
दूसरा 14 अगस्त, 1947 को रमजान का 27वां दिन था, जिसे मुसलमान काफी पवित्र मानते हैं। लेकिन आधिकारिक तौर पर आधुनिक भारत और पाकिस्तान एक ही दिन एक ही देश के दो टुकड़ों के बाद अस्तित्‍व में आए।

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इसके अलावा एक वजह और बताई जाती है। भारत ने ऐलान कर दिया था कि वह 15 अगस्‍त की मध्‍यरात्रि को स्‍वतंत्रता दिवस मनाएगा। ऐसे में वायसराय रहते हुए माउंटबेटन ने जिन्‍ना को कराची में 14 अगस्‍त को शपथ दिलवाई।

14 अगस्‍त को पाकिस्‍तान के स्‍वतंत्रता दिवस के पीछे यही सबसे बड़ी वजह बताई जाती है। कुछ इतिहासकार यह भी कहते हैं कि 14 अगस्‍त को ही कराची में पाकिस्‍तानी झंडा फहरा दिया गया था, इसलिए इसी दिन को स्‍वतंत्रता दिवस मान लिया गया।