दिल्ली पुलिस ने दो लोगों को किया गिरफ्तार
डीसीपी सेंट्रल डिस्ट्रिक्ट श्वेता चौहान ने रविवार को बताया कि देर रात दो लोगों को गिरफ्तार किया गया है। साथ ही मामले में धारा 153ए जोड़ी गई है। पहले धारा 188 के तहत केस दर्ज किया गया था। उन्होंने कहा कि जामा मस्जिद के बाहर लोगों ने हाथों में पोस्टर और बैनर लिए हुए नारेबाजी की थी। इस कड़ी में ही यह एक्शन लिया गया था।
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बदमाशों की पहचान में जुटी हैं पुलिस की टीमें
डीसीपी चौहान ने कहा कि जामा मस्जिद में जुमे की नमाज के दौरान पुलिस की तैनाती हमेशा रहती है। प्रदर्शनकारियों को 10 से 15 मिनट के भीतर तितर-बितर कर दिया गया और स्थिति शांतिपूर्ण है। घटना के संबंध में कानूनी कार्रवाई की जाएगी। हमने कुछ बदमाशों की पहचान की है और हमारी टीमें काम कर रही हैं। जल्द ही दूसरों की पहचान कर ली जाएगी।
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जुमे की नमाज के बाद जमा भीड़
आपको बता दें कि जुमे की नमाज के बाद पैगंबर पर कथित रूप से अपमानजनक टिप्पणी करने के लिए नूपुर शर्मा और दिल्ली भाजपा की मीडिया इकाई के पूर्व प्रमुख नवीन जिंदल के खिलाफ तख्तियां लिए और नारेबाजी करते हुए प्रसिद्ध मस्जिद की सीढ़ियों पर लोगों की एक बड़ी भीड़ जमा हो गई थी।
तख्तियां दिखाकर करने लगे नारेबाजी
शुक्रवार को डीसीपी ने कहा था कि मस्जिद में जुमे की नमाज के लिए करीब 1,500 लोग जमा हुए थे। जब नमाज शांतिपूर्ण तरीके से खत्म हुई तो कुछ लोग बाहर आए, तख्तियां दिखाने लगे और नारेबाजी करने लगे। बाद में कुछ अन्य भी उनके साथ शामिल हुए और संख्या बढ़ती गई।
शाही इमाम ने विवाद से खुद को किया अलग
जामा मस्जिद के शाही इमाम सैयद अहमद बुखारी ने यह कहते हुए विरोध से खुद को दूर कर लिया था कि कोई नहीं जानता कि प्रदर्शनकारी कौन थे। साथ ही उन्होंने कहा कि ऐसे लोगों के खिलाफ कार्रवाई की जानी चाहिए। शाही के अनुसार वे एआईएमआईएम के हैं या ओवैसी के लोग हो सकते है। उनका कहना था कि हमने स्पष्ट कर दिया है कि अगर वे विरोध करना चाहते हैं, तो वे कर सकते हैं, लेकिन हम उनका समर्थन नहीं करेंगे।