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‘रूस है समय की कसौटी पर खरा उतरने वाला साझेदार’: भारत ने ट्रंप को दिया करारा जवाब

Randhir Jaiswal: विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने कहा कि हम किससे क्या खरीदेंगे, यह भारत खुद तय करता है। इसमें कोई बाहरी दखल मान्य नहीं है।

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विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल (Photo-IANS)

Foreign Ministry spokesperson Randhir Jaiswal: अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप द्वारा भारत-रूस संबंधों को लेकर की गई टिप्पणी के बाद भारत के विदेश मंत्रालय ने शुक्रवार (1 अगस्त 2025) को स्पष्ट किया कि भारत अपने द्विपक्षीय रिश्ते पूरी तरह अपनी रणनीतिक जरूरतों और हितों के आधार पर तय करता है, न कि किसी तीसरे देश के दबाव या नजरिए से। विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रणधीर जायसवाल ने नियमित प्रेस ब्रीफिंग में कहा, भारत-रूस संबंध एक स्थिर और समय की कसौटी पर खरा उतरने वाली साझेदारी हैं। ये संबंध भारत की रणनीतिक स्वतंत्रता का प्रतीक हैं और इन्हें किसी तीसरे देश की नजर से नहीं देखा जा सकता।

रक्षा जरूरतें, राष्ट्रीय सुरक्षा से तय होती हैं

रक्षा क्षेत्र में रूस के साथ सहयोग को लेकर पूछे गए सवाल पर जायसवाल ने कहा कि भारत की रक्षा जरूरतें पूरी तरह से देश की राष्ट्रीय सुरक्षा और रणनीतिक मूल्यांकन पर आधारित होती हैं। उन्होंने दो टूक कहा, हम किससे क्या खरीदेंगे, यह भारत खुद तय करता है। इसमें कोई बाहरी दखल मान्य नहीं है।

अमेरिका के साथ भी मजबूत साझेदारी जारी

ट्रंप द्वारा भारत को 'डेड इकोनॉमी' कहे जाने पर टिप्पणी करते हुए जायसवाल ने कहा कि भारत और अमेरिका के बीच साझा लोकतांत्रिक मूल्य, व्यापक रणनीतिक हित और जन-से-जन का गहरा संबंध है। उन्होंने भरोसा जताया कि भारत-अमेरिका साझेदारी आगे भी मजबूती से आगे बढ़ती रहेगी। हम ठोस एजेंडे पर काम कर रहे हैं और उसी पर ध्यान केंद्रित कर रहे हैं।

रूसी तेल और ईरानी व्यापार पर भी दी सफाई

रूसी तेल आपूर्ति पर उठे सवालों पर विदेश मंत्रालय ने साफ किया कि भारत अपनी ऊर्जा आवश्यकताओं को प्राथमिकता देता है और वैश्विक परिस्थितियों को ध्यान में रखकर फैसले लेता है। जायसवाल ने कहा कि हमें किसी विशेष बदलाव की जानकारी नहीं है। रूस अभी भी भारत का सबसे बड़ा तेल आपूर्तिकर्ता बना हुआ है और भारत के कुल आयात में उसकी हिस्सेदारी 35-40% तक पहुंच गई है। ईरान के साथ व्यापार करने वाली भारतीय कंपनियों पर अमेरिकी प्रतिबंधों को लेकर जायसवाल ने कहा कि भारत इस पर विचार कर रहा है और स्थिति की समीक्षा की जा रही है।

नोबेल पुरस्कार पर प्रतिक्रिया से किया इनकार

अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप को नोबेल पुरस्कार देने की मांग पर व्हाइट हाउस की प्रवक्ता के बयान पर सवाल पूछे जाने पर जायसवाल ने कहा, इसका जवाब व्हाइट हाउस ही देगा। उन्होंने इस मुद्दे पर टिप्पणी करने से इनकार कर दिया। विदेश मंत्रालय का यह रुख स्पष्ट संकेत देता है कि भारत अपनी विदेश नीति में संतुलन, स्वायत्तता और रणनीतिक स्थिरता को सर्वोपरि मानता है।