
केप्शन- जन्म स्थली नीमच में केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल को ध्वज(प्रेसिडेंशियल कलर) प्रदान करते हुए देश के प्रथम गृह मंत्री सरदार वल्लभभाई पटेल। (फाइल फोटो)
विष्णु परिहार नीमच. देश की आंतरिक सुरक्षा का बखूबी जिम्मा संभालने वाले सबसे बड़े अर्धसैनिक बल केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल(सीआरपीएफ) के स्थापना दिवस समारोह के आयोजन की तिथि में इस वर्ष परिवर्तन कर दिया गया है। अब केरिपु का स्थापना दिवस समारोह १९ मार्च को मनाया जाएगा। केंद्रीय गृह मंत्रालय के समन्वय से सीआरपीएफ के हेडक्वार्टर ने यह फैसला लिया है। केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल की स्थापना नीमच में हुई थी।
यह है इतिहास-
गौरतलब है कि केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के स्थापना दिवस समारोह के आयोजन की तिथि में यह दूसरी बार बदलाव किया गया है। विदित है कि ब्रिटिशकाल में उत्तर भारत का सैन्य घुड़सवार सेना मुख्यालय नीमच में था। इसी कारण नीमच के अंग्रेजी नाम के प्रत्येक अक्षर के मायने थे। नार्थ इंडिया माउंटेड आर्टिलरी एंड केवेलरी हेडक्वार्टर इसका पूरा नाम था। सन १८५७ के स्वतंत्रता आंदोलन के दौरान क्रांतिकारियों ने ब्रिटिश फौज को खदेडक़र छावनी पर कब्जा कर लिया था। तब यह क्रांतिकारियों के आंदोलन की गतिविधियों का केंद्र भी हुआ करता था। लेकिन बाद में ब्रिटिश हुकुमत ने छद्म युद्ध के जरिए अधिकांश क्रांतिकारियों को या तो मार गिराया था और कुछ को गिरफ्तार कर लिया गया था। जिंदा गिरफ्तार हुए क्रांतिकारियों को अंग्रेज हुकुमत ने फांसी पर चढ़ा दिया था। तब से नीमच छावनी अंग्रेजों की सैन्य गतिविधियों का केंद्र रही। २७ जुलाई १९३९ को यहां क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस की स्थापना ब्रिटिश हुक्मरानों ने की। लेकिन जब १९४७ में देश आजाद हो गया तो दो वर्ष बाद ही देश के पहले गृह मंत्री सरदार पटेल ने इसका नाम क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस(सीआरपी) से बदलकर सेंट्रल रिजर्व पुलिस कर दिया गया। १९ मार्च १९५० को सरदार पटेल ने केंद्रीय रिजर्व पुलिस को बल का दर्जा देकर इसे ध्वज(प्रेसिडेंशियल कलर) प्रदान किया। तब से इस बल के द्वारा देश की आंतरिक सुरक्षा का जिम्मा बेहतर ढंग से संभाला जा रहा है। वर्तमान में सीआरपीएफ की २५० बटालियन जिसमें २०६ एक्सक्लूसिव और ६ महिला बटालियन हैं। एनडीआरएफ की २, आरएएफ की १० और १० कोबरा बटालियन हैं। ५ सिग्नल्स बटालियन, १ स्पेशल ड्यूटी ग्रुप, १ पार्लियामेंटरी ड्यूटी ग्रुप, ४३ ग्रुप सेंटर, २० ट्रेनिंग सेंटर, ३ सेंट्रल वेपन स्टोर, २१ कंपोजिट हास्पीटल के साथ यह देश ही नहीं बल्कि विश्व का सबसे बड़ा अर्धसैनिक बल है।
दो बार हुआ स्थापना दिवस समारोह की तिथियों में परिवर्तन-
पूर्व में सीआरपीएफ का स्थापना दिवस ३१ अक्टूबर को सरदार वल्लभभाई पटेल जयंती पर मनाया जाता था। लेकिन इसी दिन देश की प्रधानमंत्री रही इंदिरा गांधी की हत्या के कारण इस तिथि को परिवर्तित कर २७ जुलाई कर दी गई। २७ जुलाई १९३९ को सीआरपी यानि क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस की स्थापना हुई थी। अब तक २७ जुलाई को सीआरपीएफ के स्थापना दिवस पर हेडक्वार्टर दिल्ली सहित जन्म स्थली नीमच में बड़े आयोजन होते रहे हैं। लेकिन जुलाई में बारिश के कारण कई बार इन कार्यक्रमों में व्यवधान होता रहा है। दूसरा क्राउन रिप्रेजेंटेटिव पुलिस का नाम गुलामी का प्रतीक माना जाता रहा है इस कारण केरिपु के रूप में इसे भारतीय स्वरूप में देखने के लिहाज से भी यह परिवर्तन किया गया है। चूंकि १९ मार्च को सरदार पटेल ने केरिपु बल को ध्वज(कलर) प्रदान किया था इसलिए इस तिथि को स्थापना दिवस के लिए ज्यादा अनुकूल मानकर गृह विभाग ने स्वीकृति दे दी है।
यह होंगे आयोजन-
केरिपु के दिल्ली हेडक्वार्टर पर १९ मार्च को बल की परंपरा के अनुसार स्थापना दिवस समारोह मनाया जाएगा जिसमें केंद्रीय गृहमंत्री अतिथि होंगे। सबसे पहले शहीदों को पुष्पचक्र अर्पित किए जाएंगे। इसके बाद भव्य परेड होगी। सैनिक सम्मेलन होगा जिसमें कार्मिकों के लिए बड़ी घोषणाएं हो सकती हैं। इसके अलावा देश भर में स्थित केरिपुबल के विभिन्न केंद्रों पर भी स्थापना दिवस के समारोह आयोजित किए जाएंगे।
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केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल के स्थापना दिवस समारोह की तिथि में परिवर्तन किया गया है। अब से यह १९ मार्च को मनाया जाएगा। मौसम सहित विभिन्न कारणों से यह निर्णय लिया गया है। तैयारियां शुरू कर दी गई हैं। हेडक्वार्टर सहित विभिन्न इकाइयों में स्थापना दिवस समारोह भव्य स्वरूप में मनाया जाएगा। नीमच सीआरपीएफ की जन्म स्थली होने के कारण बल के हर सदस्य के लिए तीर्थ है। - एम.दीनाकरन, डीआईजी(इंटेली.) सीआरपीएफ हेडक्वार्टर नई दिल्ली
Updated on:
24 Feb 2018 01:19 pm
Published on:
24 Feb 2018 01:16 pm
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