
Supreme Court: आप असली हैं या…सुप्रीम कोर्ट में ऑनलाइन पेश होने पर वकील से बोले जज
Supreme Court: सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में एक अजीबोगरीब घटना घटी। जब वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश हुए वकील को जजों ने आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस समझ लिया। जब एक वकील वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए बेंच के सामने पेश हुआ तो जस्टिस बीवी नागरत्ना ने पूछा "क्या आप असली हैं?" इसके जवाब में वकील ने कहा "मैं आपको आश्वस्त कर सकता हूं कि मैं असली हूं।" इस दौरान जस्टिस बीवी नागरत्ना और जस्टिस एससी शर्मा ने कहा "आज एक व्यक्ति के बारे में एक खबर आई थी। जिसने एक एआई व्यक्ति को अदालत में पेश किया और एक मामले पर बहस की। तो क्या आप वही हैं?।" इस पर वकील ने कहा "मीलॉर्ड मैं आपको आश्वस्त करता हूं कि मैं असली हूं।"
दरअसल, सोमवार को सुप्रीम कोर्ट पत्नी को आत्महत्या के लिए उकसाने के मामले की वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए सुनवाई कर रहा था। इस दौरान सुप्रीम कोर्ट ने न्यूयॉर्क कोर्ट के हालिया मामले का जिक्र किया। जहां न्यायाधीशों का सामना एक एआई व्यक्ति से हुआ था। वह एआई व्यक्ति जजों सामने वर्चुअली बहस कर रहा था। हालांकि अधिवक्ता के आश्वस्त करने के बाद सुप्रीम कोर्ट ने इस मामले में अपना फैसला सुनाया। सुप्रीम कोर्ट ने कहा "केवल पिछले झगड़ों और वैवाहिक तनाव के आधार पर पत्नी को आत्महत्या के लिए उकसाने के लिए व्यक्ति को दोषी नहीं ठहराया जा सकता।" इसके बाद सुप्रीम कोर्ट ने पत्नी की आत्महत्या के लिए दोषी ठहराए गए आरोपी पति को बरी कर दिया।
टाइम्स ऑफ इंडिया की रिपोर्ट के अनुसार, कोर्ट में एआई अधिवक्ता पेश होने की घटना न्यूयॉर्क की है। जहां बीते दिनों न्यूयॉर्क अपील कोर्ट में 74 साल के जेरोम डेवाल्ड बिना किसी वकील के मामले में बहस कर रहे थे। जेरोम डेवाल्ड अपीलीय प्रभाग के प्रथम न्यायिक विभाग के न्यायाधीशों के एक पैनल के समक्ष पेश हुए। जो एक पूर्व नियोक्ता के साथ विवाद में निचली अदालत के फैसले को पलटने की मांग कर रहे थे। हालांकि डेवाल्ड एक लाइसेंस प्राप्त वकील नहीं थे, लेकिन उन्हें अपनी दलील के समर्थन में एक पूर्व-रिकॉर्डेड वीडियो प्रस्तुत करने की अनुमति दी गई थी।
इस मामले का न्यूयॉर्क के सुप्रीम कोर्ट के प्रथम न्यायिक विभाग के अपीलीय प्रभाग के YouTube चैनलों पर सीधा प्रसारण किया जा रहा था। इसी बीच अपील कर्ता ने कोर्ट में एक वीडियो पेश किया। जिसे चलाने पर अदालत में जजों के सामने असहजता की स्थिति पैदा हो गई। दरअसल, वीडियो क्लिप चलाते ही एक युवक ने बड़ी शालीनता के साथ बोलना शुरू किया।
एआई युवक ने कहा "क्या मैं अदालत को खुश कर सकता हूं? मैं आज यहाँ पांच प्रतिष्ठित न्यायाधीशों के पैनल के समक्ष एक विनम्र वकील के रूप में आया हूं।" वीडियो में मौजूद एआई व्यक्ति के संबोधन को न्यायमूर्ति सैली मैन्ज़ानेट-डैनियल ने बीच में ही रोकते हुए डेवाल्ड से पूछा कि क्या वीडियो में मौजूद व्यक्ति वकील है? इसपर जेरोम डेवाल्ड ने अदालत के सामने स्पष्ट किया कि वह व्यक्ति वास्तविक नहीं है, बल्कि एआई से जेनरेट किया गया व्यक्ति है। इस पर न्यायालय हैरान रह गया। न्यायमूर्ति सैली मैन्ज़ानेट-डैनियल ने कहा "इसे बंद करो। मुझे गुमराह किया जाना पसंद नहीं है।"
दरअसल, हालांकि, वीडियो में कॉलर वाली शर्ट और बेज स्वेटर पहने एक बहुत ही कम उम्र का आदमी दिखाया गया था, जो धुंधली आभासी पृष्ठभूमि के सामने बोल रहा था। इससे जजों को भ्रम हुआ और उन्होंने उसे बीच में ही रोक दिया। इसके बाद जेरोम डेवाल्ड ने अपनी सफाई देते हुए कोर्ट को बताया "मैं पहली सुनवाई के दौरान अपना पक्ष रखते समय लड़खड़ा गया था। इसलिए इस मामले में अपनी बात को कुशलता से रखने के लिए मैंने एआई अवतार को अपनी ओर से बोलने के लिए कहा।" इस दौरान जेरोम डेवाल्ड ने अदालत में अफसोस भी जताया।
Published on:
07 Apr 2025 07:49 pm
बड़ी खबरें
View Allनई दिल्ली
दिल्ली न्यूज़
ट्रेंडिंग
