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मंदिर सहित सैकड़ों घर जलमग्न हो जाते हैं, इस बार भी राहत मुश्किल

करीब सौ साल पहले बने खरबूजा बावड़ी स्थित मंदिर एक बार फिर डूबेगा। क्योंकि जेडीए की ओर से बनाए जा रहे नाले का निर्माण अभी तक पूरा नहीं हुआ है पिछले चार माह यहां पर कार्य अटका हुआ है। क्षेत्र वासियों ने इस नाली के निर्माण के लिए जब-जब चिड़िया को कहा तो उन्होंने आचार […]

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करीब सौ साल पहले बने खरबूजा बावड़ी स्थित मंदिर एक बार फिर डूबेगा। क्योंकि जेडीए की ओर से बनाए जा रहे नाले का निर्माण अभी तक पूरा नहीं हुआ है पिछले चार माह यहां पर कार्य अटका हुआ है। क्षेत्र वासियों ने इस नाली के निर्माण के लिए जब-जब चिड़िया को कहा तो उन्होंने आचार संहिता का बहाना बना दिया।

अभी स्थिति यह है कि मानसून आने में करीब 33 दिन बाकी है और अभी तक नल का निर्माण कार्य पूरा नहीं हुआ है। इसके चलते इस बार भी यहां पर क्षेत्र वासियों को जल भराव की समस्या को झेलना पड़ेगा।दरअसल खरबूजा बावड़ी क्षेत्र में पिछले लंबे समय से जल भराव की समस्या चल रही है। हैरत की बात यह है कि खरबूजा बावड़ी क्षेत्र में बने हुए शिव मंदिर में मानसूनी सीजन के दौरान भोलेनाथ का अभिषेक भी नहीं हो पता। मंदिर के अंदर सीवरेज का पानी शिवलिंग के ऊपर तक भर जाता है। इसके चलते यहां पर पुजारी और भक्त नहीं पहुंच पाते। हर साल पानी भरने के कारण मंदिर में लोगों का आना-जाना तो दूर की बात है, यहां के पुजारी भी मंदिर में प्रवेश नहीं कर पाते है और भगवान शिव का अभिषेक भी नहीं होता है। इससे यहां रहने वाले लोगों की भावना को ठेस पहुंच रही है।

परिवार हो जाते हैं कमरों में कैद

खरबूजा बावड़ी क्षेत्र में चलानी पड़ी थी नाव।

खरबूजा बावड़ी क्षेत्र में गत वर्ष और उसके पूर्व भी जल भराव के कारण लोग घरों के बाहर तक नहीं निकाल पाए। कुछ वर्ष पूर्व ही यहां पर एक परिवार को एंबुलेंस तक नसीब नहीं हो पाई। उसके बाद भी जेडीए ने अभी तक नाला निर्माण कार्य पूरा नहीं किया है।