23 दिसंबर 2025,

मंगलवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

आपकी बात : ट्रंप की चेतावनी से अमरीका में भारतीय पेशेवरों की भर्ती पर क्या असर पड़ेगा?

पाठकों ने इस पर कई जवाब दिए हैं। प्रस्तुत हैं पाठकों की चुनिंदा प्रतिक्रियाएं

2 min read
Google source verification

जयपुर

image

Neeru Yadav

Jul 28, 2025

फैसला भारतीय हितों के खिलाफ
ट्रंप धमकियों के साथ ही मनमाने फैसले लेते जा रहे हैं। गूगल, माइक्रोसॉफ्ट, एप्पल जैसी बड़ी कंपनियों को भारत सहित विदेशी स्थानों से भर्ती बंद अमरीकी नागरिकों को प्राथमिकता देने की चेतावनी ट्रंप ने दी है। इससे भारतीय सॉफ्टवेयर, डेटा साइंस और एआइ पेशेवरों के लिए नौकरी संभावनाएं अस्थिर हो सकती हैं। साथ ही एच-1बी वीजा नियमों में कड़े बदलाव और विशेष पात्रता मानदंड संभावित रूप में पेशेवरों की भर्ती की राह कठिन बना देंगे, जिससे कंपनियां वैकल्पिक वीजा विकल्प भी तलाश रही हैं। ट्रंप के ताजा निर्देश किसी भी कीमत पर भारतीयों के लिए फायदेमंद नहीं है। - अमृतलाल मारू, इंदौर

भारत पर भी पड़ेगा असर
अमरीकी राष्ट्रपति डॉनल्ड ट्रंप ने गूगल, माइक्रोसॉफ्ट जैसी बड़ी कंपनियों में भारतीयों की भर्ती बंद करने को कहा है। यह अमरीका जाकर पढ़ाई करने और नौकरी करने वालों के लिए तगड़ा झटका है। इसका असर भारत पर भी पड़ेगा। - निर्मला वशिष्ठ, अलवर

भविष्य पर होगा संकट
यदि ट्रंप की चेतावनी की वजह से गूगल-माइक्रोसॉफ्ट भर्ती बंद करती हैं तो कॉलेज प्लेसमेंट से लेकर अनुभवी पेशेवरों तक सभी पर इसका गहरा असर होगा। अमरीका में एच-1बी वीजा के जरिए काम करने वाले लाखों भारतीय पेशेवरों की नौकरी और भविष्य दोनों पर असर पड़ेगा। - लहर सनाढ्य, उदयपुर

अपने पैरों पर खुद कुल्हाड़ी मार रहे
भारतीय पेशेवरों की अमरीकी कम्पनियों में भर्ती पर रोक लगाने की चेतावनी देकर ट्रंप अपने पैरों पर खुद कुल्हाड़ी मार रहे हैं। भारतीय पेशेवरों की मांग विश्व के कई देशों में है, यदि रोक लगती है तो वे अन्य देशों की और रूख करेंगे, जिससे अमरीका को आर्थिक और तकनीकी रूप से काफी नुकसान होने लगेगा। - संजय डागा, हातोद

ट्रंप की सोच दिशाहीन
ट्रंप की रीति नीति दो मुंही है। वे समझ नहीं पाते कि विश्व समुदाय के साथ कैसे रिश्ते हों। अब अमरीका में भारतीय पेशेवरों की भर्ती को लेकर धमकियां रहे हैं। इससे अमरीका की विकासवादी नीति खोखली हो जाएगी और यह अर्थव्यवस्था को भी गर्त में धकेलने जैसा है। ट्रंप की सोच दिशाहीन है। - हरिप्रसाद चौरसिया, देवास