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बदलती तस्वीर… बहुत हुई वकालत और डॉक्टरी, अब बनेंगे नेताजी

Rajasthan Assembly Elections 2023 : सफेदपोश नहीं, अबकी बार तो अधिकारी और व्यवसायी भी अलाप रहे... चुनावी रागजिले की अमूमन सभी सीटों पर अलग-अलग कार्यक्षेत्र से जुडे़ लोग टिकट की कतार में

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पाली

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Rajkamal Vyas

Oct 10, 2023

बदलती तस्वीर... बहुत हुई वकालत और डॉक्टरी, अब बनेंगे नेताजी

बदलती तस्वीर... बहुत हुई वकालत और डॉक्टरी, अब बनेंगे नेताजी

-राजकमल व्यास
चुनावी रणभेरी बज चुकी हैं, दूल्हा कौन होगा बस इसका इंतजार हैं। इस बार चुनावी दंगल में सिर्फ नेताजी ही नहीं, कई डॉक्टर, पूर्व सरकारी अधिकारी, सरपंच और छात्र नेता भी शामिल है। वैसे तो राजनीति में इनकी एंट्री कोई नई बात नहीं है, लेकिन इस बार कई नए नेताजी पूरे जिले में ही गांव-गांव और गली-गली... खुद को चमकाते नजर आ रहे हैं। राजनीति की रंगत का ही असर है कि उन्हें नेताजी की सियासी सवारी मन भाने लगी है। पाली जिले की राजनीति में खुद की नींव को मजबूत करते ऐसे ही नए नेताजी पर विशेष रिपोर्ट :

सोजत : पूर्व सीएस के मन भा रही राजनीति
चुनावी समर में इस बार सोजत की मेहंदी के रंग में रंगने के लिए कई नेताजी गांव-गांव और ढाणी-ढाणी घूम रहे हैं। खास बात ये है कि कांग्रेस के एक नेताजी तो पूर्व सीनियर आइएएस रह चुके हैं तो दूसरे बैंकिंग अधिकारी। पिछले चुनाव में इन सीनियर आइएएस की पत्नी यहां से चुनावी दंगल में उतरी थी। इधर, महिला नेताजी भी पीछे नहीं है, फिर चाहे सत्ता पक्ष हो या विपक्ष।

पाली : यहां तो नेताजी के साथ छात्र नेत्री भी दौड़ में
वैसे तो पाली भाजपा का अभेद्य गढ़ है। इस बार वर्तमान विधायक के साथ ही व्यवसायी व जमीन कारोबारी भी ताल ठोक रहे हैं। अंदरखाने तो पूर्व सभापति व पूर्व सांसद रह चुके नेताजी भी पीछे नहीं है। वहीं बात सत्ता पक्ष की करें तो निर्दलीय ताल ठोककर चुनावी माहौल को बदलने में माहिर इंजीनियरिंग कर चुके नेताजी के साथ दो-दो पूर्व सभापतियों के साथ ही रोहट प्रधान व छात्र नेत्री भी शामिल है। कॉलेज के एक प्रोफेसर भी सियासी दौड़ में शामिल हैं।

जैतारण : वकील और डॉक्टर भी नहीं पीछे
चुनावी रणभेरी बजने के साथ ही यहां नेताजी के नामों से पर्दा उठने लगा है। यों वकालत में माहिर वर्तमान विधायक फिर से दौड़ में है, लेकिन जोधपुर के एक चिकित्सक ने भी ताल ठोक रखी है। इधर, पहले भाजपा से विधायक रहे और पूर्व मंत्री रहे नेताजी इस बार कांग्रेस की दौड़ में है। छात्र राजनीति के जरिए चुनावी रण में उतरने को एक सरपंच भी खासे बेताब है। अब तो सूची आने पर ही ये दौड़ खत्म होगी। पूर्व राजघराने के दो सदस्य और पूर्व प्रधान भी टिकट की उम्मीद लगाए हैं।

मारवाड़ जंक्शन : यहां नेताजी संग व्यवसायी भी आतुर
पिछले चुनाव में निर्दलीय के बूते जीत का सेहरा बंधवा चुके इस क्षेत्र में वर्तमान एमएलए के साथ ही कई व्यवसायी भी ताल ठोक रहे हैं। भाजपा से पूर्व विधायक व प्रधान भी इस दौड़ में है तो पायलट गुट से जुड़े एक नेताजी का नाम भी चर्चा में है। वैसे देखा जाए तो यहां पर शिक्षित महिला दावेदार भी दौड़ में है तो दिसावर में व्यवसायरत कई उद्यमी और व्यवसायी भी यहां से उम्मीदवारी के लिए दौड़ लगा रहे हैं।

सुमेरपुर : अदाकारा और बिजनेसमैन ठोक रहे ताल
इस बार यहां का चुनाव खासा रोमांचक होने वाला है। इस बार सत्ता पक्ष से दावेदारों की दौड़ में पूर्व मंत्री व फिल्मों में अभिनय का जादू बिखेर चुकी महिला नैत्री फिर से दावेदारी कर रही है तो बड़े व्यवसायी भी यहां से ताल ठोक रहे हैं। कॉलेज की राजनीति में सक्रिय रहे युवा नेता भी कतार में पीछे नहीं है। इधर, भाजपा से विधायक के साथ ही पूर्व विधायक रणभेरी बजाने को आतुर है। कांग्रेस के संगठन में जगह बनाने वाले नेताजी भी यहां टिकट की लाइन में है।

बाली : बाहरी व्यवसायियों की नजर
वैसे तो गोडवाड़ क्षेत्र व्यापारियों की नगरी है, लेकिन इस बार व्यवसायी भी यहां से चुनावी नैया में सफर को आतुर है। भाजपा से पांच बार विधायक रह चुके नेताजी फिर से दौड़ में है तो आरएसएस से जुड़े पदाधिकारी भी इस बार कतार में है। इधर, कांग्रेस से पूर्व सांसद ताल ठोकने को आतुर है तो दिसावर के कई प्रवासी व्यवसायी भी उम्मीदवारों की दौड़ में खुद को बनाए हुए हैं।