27 दिसंबर 2025,

शनिवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

बिहारी मजदूरों के साथ होगा कर्मचारी जैसा ट्रीटमेंट, सरकार ने लेबर कानून बदला

Bihar sarkar श्रमिकों के काम के घंटों और मेहनताने को लेकर नया प्रावधान लाई है।

2 min read
Google source verification

पटना

image

Ashish Deep

Jul 22, 2025

Bihar Chief Minister Nitish Kumar

बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Photo-ANI)

बिहार के श्रमिकों के लिए अच्छी खबर है। उन्हें अब काम ढूंढने के लिए परदेश नहीं जाना होगा। क्योंकि राज्य सरकार श्रमिकों के काम के घंटों और मेहनताने को लेकर नया प्रावधान लागू करने जा रही है। इसके तहत राज्य के कारखानों-फैक्ट्रियों में अगर किसी लेबर से हफ्ते में 48 घंटे से ज्यादा काम लिया जाता है तो ओवरटाइम के लिए उसे दोगुनी मजदूरी मिलेगी। साथ ही, किसी श्रमिक से 1 दिन में अधिकतम 12 घंटे तक काम कराया जा सकेगा, लेकिन पूरे हफ्ते में काम किसी भी हाल में 48 घंटे से अधिक नहीं होना चाहिए। यदि कोई लेबर लगातार 4 दिन तक रोज 12 घंटे काम करता है तो सप्ताह के बचे हुए दिनों में उसे छूट्टी देना अनिवार्य होगा।

बिहार विधानसभा में कारखाना (बिहार संशोधन) विधेयक पेश

बिहार विधानसभा में सरकार ने कारखाना (बिहार संशोधन) विधेयक, 2025 पेश किया है। इस बिल को चालू मॉनसून सत्र में पारित कराया जाएगा। इसके बाद नियोजित श्रमिकों को अधिक ओवर टाइम करने का अवसर मिलेगा। इसके साथ ही बिहार प्लेटफॉर्म आधारित गिग कामगार (निबंधन, सामाजिक सुरक्षा एवं कल्याण) विधेयक-2025 भी सदन में प्रस्तुत किया गया। इस बिल के अनुसार, राज्य सरकार सभी अंशकालिक कर्मियों यानी गिग कामगारों का पंजीकरण सुनिश्चित करेगी ताकि उन्हें सामाजिक सुरक्षा और कल्याणकारी योजनाओं का फायदा मिल सके।

बिहार के 75 लाख लेबर बाहर काम कर रहे

बता दें कि बिहार में पलायन एक बड़ी समस्या है। राज्य से करीब 75 लाख लेबर दूसरे राज्यों में नौकरी कर रहे हैं। 2011 की जनगणना के मुताबिक उत्तर प्रदेश के 1.23 करोड़ लोगों के बाद बिहार का नंबर आता है। वहीं देश की बात करें तो करीब 5.5 करोड़ लोग अपने राज्य से बाहर नौकरी कर रहे हैं। खास बात यह है कि बिहार के 13.36 लाख लोग झारखंड में काम करने के लिए गए हुए हैं।

क्या है बिहार प्लेटफॉर्म आधारित गिग कामगार बिल में

बिहार प्लेटफॉर्म आधारित गिग कामगार बिल सभी गिग कामगारों को सामाजिक सुरक्षा की गारंटी देगा और उन्हें बीमा कवरेज की सुविधा भी उपलब्ध कराएगा। ड्यूटी के दौरान आकस्मिक मौत की स्थिति में उनके परिजनों को 4 लाख रुपये की एकमुश्त अनुग्रह राशि दी जाएगी। ड्यूटी के दौरान दुर्घटना की स्थिति में गर कोई गिग कामगार एक हफ्ते से अधिक समय तक अस्पताल में भर्ती रहता है, तो उसे 16,000 रुपये की मदद दी जाएगी। जबकि एक सप्ताह से कम भर्ती रहने पर 5,400 रुपये मिलेंगे।

दुकान पर नौकरी करने वाले को वीक ऑफ

दुकानों और प्रतिष्ठानों में काम करने वाले कर्मचारियों को साप्ताहिक अवकाश मिलेगा और इस छूट्टी के दिन की मजदूरी भी उन्हें दी जाएगी। दुकानदारों और कर्मचारियों की सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए बिहार दुकान प्रतिष्ठान (रोजगार विनियमन और सेवा शर्त) विधेयक, 2025 मानसून सत्र के दौरान पारित किया जाएगा। विधेयक पारित होने के बाद यह कानून राज्यभर में लागू होगा।

बीमार होने पर मिलेगी छुट्टी

हर कर्मचारी को एक साल में सात दिन की सवेतन बीमारी अवकाश का अधिकार मिलेगा। किसी भी कर्मचारी से हफ्ते में अधिकतम 48 घंटे और रोजाना 9 घंटे से ज्यादा काम नहीं कराया जाएगा। इसके अलावा ऐसे दुकान या प्रतिष्ठान जहां कर्मचारियों की संख्या 10 से कम है, उनके लिए पंजीकरण कराना जरूरी नहीं होगा। जबकि 10 या उससे अधिक कर्मियों वाले प्रतिष्ठानों को अपनी शुरुआत की तारीख से 6 माह में पंजीकरण कराना जरूरी होगा।