12 दिसंबर 2025,

शुक्रवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

कांग्रेस में शामिल होकर बोले किरण कुमार रेड्डी- राहुल गांधी से तेलुगू लोगों को बहुत उम्मीद

आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एन किरण कुमार रेड्डी ने कहा कि कांग्रेस में उनकी घर वापसी हुई है और उनके लिए यह खुशी का मौका है।

2 min read
Google source verification
CONGRESS

आंध्र प्रदेश के पूर्व सीएम किरण कुमार रेड्डी की कांग्रेस में वापसी, बोले- राहुल गांधी से बहुत उम्मीद

नई दिल्ली। आंध्र प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री एन किरण कुमार रेड्डी अपने कई समर्थकों के साथ शुक्रवार को कांग्रेस में शामिल हो गए। कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात करने के बाद पार्टी मुख्यालय कांग्रेस मुख्यालय 24, अकबर रोड में रेड्डी ने कहा कि कांग्रेस में उनकी घर वापसी हुई है और उनके लिए यह खुशी का मौका है। इस दौरान केरल के पूर्व मुख्यमंत्री ओमन चांडी और कांग्रेस रणदीप सिंह सुरजेवाला भी मौजूद रहे।

यह भी पढ़ें: UIDAI अध्यक्ष का बड़ा बयान, आधार की वजह से सरकार के बचे 90 हजार करोड़ रुपए

'मोदी सरकार ने नहीं निभाया वादा'

रेड्डी ने अपने समर्थकों से साथ आज वह कांग्रेस अध्यक्ष से मिले और कहा कि वह एक समर्पित कार्यकर्ता के रूप में पार्टी के लिए काम करेंगे। कांग्रेस में वापसी की वजह पूछे जाने पर उन्होंने कहा कि मोदी सरकार आंध्र प्रदेश और तेलंगाना के साथ किए गए वादों को नहीं निभा रही है और कांग्रेस गांधी के नेतृत्व में तेलुगू लोगों की आकांक्षाओं को पूरा करने के लिए संघर्ष कर रही है।

यह भी पढ़ें: पीएम मोदी पर कांग्रेस का तंज, पंजाब में 'जुमलों के बादशाह' की किसान रैली असफल रही

राहुल गांधी पूरी करेंगे तेलुगू लोगों की उम्मीद: रेड्डी

पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि मुझे राहुल गांधी पर पूरा भरोसा है कि वह तेलंगाना और आंध्र की जनता के हितों की लड़ाई लड़ेंगे इसलिए वह कांग्रेस में शामिल हो रहे हैं। रेड्डी अविभाजित आंध्र प्रदेश के मुख्यमंत्री और विधानसभा के अध्यक्ष रहे हैं। गौरतलब है कि श्री रेड्डी कांग्रेस छोडक़र वाईएसआर कांग्रेस में शामिल हो गए थे।

राज्य बंटवारे से थे नाराज

बता दें कि 2014 में राज्य के बंटवारे के खिलाफ एन किरण कुमार रेड्डी ने कांग्रेस छोड़ दिया था। वह दो जून, 2014 को तेलंगाना के गठन से पहले अविभाजित आंध्र प्रदेश के अंतिम मुख्यमंत्री थे। उन्होंने 2011 में मुख्यमंत्री के.रोसैया का स्थान लिया था।