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जम्मू-कश्मीरः शहीद औरंगजेब के पिता हो सकते हैं भाजपा में शामिल, कही यह बड़ी बात

locationनई दिल्लीPublished: Feb 01, 2019 12:24:54 pm

घाटी से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। देश के लिए अपनी शहादत देने वाले शहीद औरंगजेब के पिता राजनीति में कदम रख सकते हैं।

शहीद औरंगजेब के पिता मोहम्मद हनीफ

जम्मू-कश्मीरः शहीद औरंगजेब के पिता हो सकते हैं भाजपा में शामिल, कही यह बात

जम्मू। घाटी से एक बड़ी खबर सामने आ रही है। देश के लिए अपनी शहादत देने वाले शहीद औरंगजेब के पिता राजनीति में कदम रख सकते हैं। मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक शहीद औरंगजेब के पिता मोहम्मद हनीफ भारतीय जनता पार्टी में शामिल हो सकते हैं।
आगामी 3 फरवरी को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जम्मू दौरा करने वाले हैं। बताया जा रहा है कि इस दौरान ही मोहम्मद हनीफ भाजपा में शामिल हो सकते हैं। इस संबंध में भाजपा नेताओं का कहना है कि मोहम्मद हनीफ के पार्टी में शामिल होने से पुंछ और राजौरी जिले में पार्टी को और ज्यादा मजबूती मिलेगी।
मोहम्मद हनीफ से भाजपा के कई वरिष्ठ नेता मुलाकात कर चुके हैं। इन नेताओं ने हनीफ को भाजपा में शामिल होने का प्रस्ताव भी दिया है। हनीफ के नाम पर स्वीकृति देने के लिए राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह को भी लिखा जा चुका है। अब भाजपा द्वारा घोषणा की जानी बाकी है। उम्मीद जताई जा रही है कि विजयपुर में होने वाली जनसभा के दौरान पीएम मोदी इसकी घोषणा कर सकते हैं।
इस संबंध में मोहम्मद हनीफ का कहना है कि वह केवल अपने मुल्क और कौम के लिए पीएम मोदी के नेतृत्व वाली भाजपा में शामिल हो रहे हैं। ये लोग सीमा से जुड़े इलाकों में रहते हैं। पहले जब भी पाकिस्तान की ओर से गोलीबारी होती थी तब फौजी साथियों के हाथ बंधे होते थे। यहां के लोगों पर अक्सर गोले गिरते थे, लेकिन जब से नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बने हैं, सेना ने पाकिस्तान को मुंहतोड़ जवाब दिया है।
जम्मू-कश्मीरः शहीद औरंगजेब के पिता हो सकते हैं भाजपा में शामिल, कही यह बात
उन्होंने आगे कहा कि आज हालात यह हैं कि यहां लोग बेखौफ होकर अपने खेतों पर काम करने जाते हैं। सभी को पता है कि अब पाकिस्तान गोलीबारी करने की हिम्मत नहीं करेगा। अगर उसने ऐसा किया तो उसे खामियाजा भुगतना पड़ेगा। ऐसे प्रधानमंत्री के साथ चलना गर्व की बात है। उनका बेटा औरंगजेब इस मुल्क के लिए शहीद हुआ था और वह इस शहादत को याद करते हुए उस नेता के पीछे चलना चाहते हैं जो कौम और मुल्क के बारे में सोचे।
उन्होंने कहा कि उन्हें इस बात का अफसोस है कि उनके बेटे की कुर्बानी के बाद सऊदी अरब से इलाके के कई युवक नौकरी छोड़कर वापस लौट आए थे। इन सभी का मकसद सेना और पुलिस में भर्ती होकर आतंकियों का सफाया करना था। उस वक्त तो सभी को विश्वास दिलाया गया कि उन्हें भर्ती किया जाएगा, लेकिन अभी तक यह वादा पूरा नहीं हुआ। इस वादे को पूरा करने के लिए भी पीएम मोदी से बात करूंगा। यह चाहता हैं कि सभी कौम परस्त लोग भाजपा और पीएम मोदी के साथ चलें।
गौरतलब है कि औरंगजेब की शहादत के बाद रक्षा मंत्री निर्मला सीतारमण और थलसेना प्रमुख जनरल विपिन रावत भी उनके घर पर परिजनों को सांत्वना देने पहुंचे थे।

इतना ही नहीं खबर है कि मोहम्मद हनीफ के अलावा और भी कई प्रमुख लोग इस दौरान भारतीय जनता पार्टी की सदस्यता ग्रहण कर सकते हैं। इससे भाजपा को घाटी में बेहतरी की उम्मीद है। मोहम्मद हनीफ जम्मू-कश्मीर लाइट एनफेंट्री में सिपाही रह चुके हैं। उनके पिता यानी औरंगजेब के दादा भी सेना में थे और देश के लिए अपनी शहादत दी थी।
सलानी गांव निवासी औरंगजेब का परिवार देश के लिए शहादत देने में आगे रहा है। आतंकवादियों ने हनीफ के चाचा का भी कत्ल कर दिया था। हनीफ के 10 बच्चे हैं जिनमें छह बेटे हैं। इनमें सबसे बड़ा मोहम्मद कासिम भी सेना में है। उनके दो छोटे बेटे मोहम्मद तारिक और मोहम्मद शब्बीर भी सेना में जाने की तैयारी में जुटे हैं। औरंगजेब 10 भाई-बहनों में चौथे नंबर का बेटा था। सलानी गांव में सेना या सुरक्षा बलों में काम कर चुके या काम रह रहे सैनिकों की संख्या काफी ज्यादा है।
बता दें कि बीते वर्ष 14 जून को ईद की छुट्टी पर कश्मीर से पुंछ में अपने घर लौटते वक्त राइफलमैन औरंगजेब का आतंकियों ने अपहरण कर लिया था। पुलवाना के कालंपोरा से अपहरण के बाद गोली मारकर औरंगजेब की हत्या कर दी गई थी। औरंगजेब उस दल में थे, जिसने समीर टाइगर को खत्म कर दिया था।

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