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सोनिया गांधी का संसदीय दल की बैठक में गुटबाजों को सख्त संदेश, बताया- पांच राज्यों में क्यों हुई हार

कांग्रेस संसदीय दल की अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को संसद में एक बैठक की अध्यक्षता की। इस बैठक में सोनिया गांधी ने एक तरफ जहां महंगाई को लेकर मोदी सरकार पर हमला बोला है, वहीं पार्टी में गुटबाजों को भी सख्त संदेश दिया।

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Dheeraj Sharma

Apr 05, 2022

Sonia Gandhi Hard Message To Factionalist In Congress Parliamentary Committee Meeting

Sonia Gandhi Hard Message To Factionalist In Congress Parliamentary Committee Meeting

कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने मंगलवार को पार्टी की संसदीय दल की बैठक की। इस बैठक में राज्यसभा और लोकसभा के सभी कांग्रेस सांसद शामिल हुए। बैठक के दौरान सोनिया गांधी ने पार्टी में बदलाव की जरूरत पर जोर दिया। इसके साथ ही उन्होंने महंगाई समेत अन्य मुद्दों पर मोदी सरकार पर भी जमकर घेरा। सोनिया गांधी ने कहा कि, हमारा(Congress) एक बार फिर मजबूती से उभरना सिर्फ हमारे लिए ही नहीं बल्कि लोकतंत्र और समाज के लिए भी अहम है। पार्टी सांसदों के साथ मीटिंग में सोनिया गांधी ने पार्टी के गुटबाजों को भी सख्त संदेश दिया। उन्होंने कहा कि, मुद्दा चाहे जो हो, लेकिन पार्टी में एकजुटता सबसे ऊपर है।


सोनिया गांधी ने संसदीय दल की बैठक में एनडीए सरकार की जमकर आलोचना की। उन्होंने कहा कि वह ज्यादा से ज्यादा डर फैलाने और धमकाने की कोशिश कर रही है। उन्होंने कहा कि यूक्रेन से जिन छात्रों को भारत लाया गया है, उनका करियर कैसे सुरक्षित रहे इस बात की चिंता भी सरकार को करनी चाहिए।

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पांच राज्यों की हार दुखदायी

सोनिया गांधी ने कहा कि, हाल में हुए पांच राज्यों के चुनाव में पार्टी की हार से सबक लेने की जरूरत है। उन्होंने कहा- मुझे मालूम है कि हालिया चुनाव में हार से आप सब कितने दुखी हैं। परिणाम चौंकाने वाले और दुखदायी थे। सोनिया गांधी ने कहा कि, मोदी सरकार का देश को तोड़ने वाला और ध्रुवीकरण का एजेंडा लगातर जारी है।

पार्टी में एकता सर्वोपरि

सोनिया ने कांग्रेस में फिर जान फूंकने को लेकर भी बात कही। उन्होंने कहा कि, कांग्रेस में परिवर्तन जरूरी है, लेकिन उससे ज्यादा 'पार्टी में एकता सर्वोपरि' है। सोनिया गांधी ने कहा कि, 'मैं इसे सुनिश्चित करने के लिए हर कदम उठाने को तैयार हूं।'

सोनिया गांधी ने सांसदों से कहा, 'हमारे आगे जो रास्ता है, वह बेहद चुनौतीपूर्ण है, जितना कभी नहीं था। हमारा समर्पण, संकल्प और फिर से उभरने की भावना का परीक्षण होना है। उन्होंने कहा कि, कांग्रेस में परिवर्तन न सिर्फ पार्टी बल्कि देश के लोकतंत्र और समाज के लिए जरूरी है।


बता दें कि सोनिया गांधी का यह बयान पार्टी की ओर से आयोजित होने वाले चिंतन शिविर से पहले आया है। इस शिविर में यूपी, पंजाब समेत 5 राज्यों में पार्टी की करारी हार को लेकर मंथन किया जाएगा।

गुटबाजों को दिया सख्त संदेश

सोनिया गांधी ने कहा कि, पार्टी में किसी भी कीमत पर गुटबाजी बर्दाश्त नहीं की जाएगी। इन्हीं वजहों से चुनाव में पार्टी के प्रदर्शन पर असर पड़ा है। उन्होंने कहा कि, मुद्दा जो भी हो एकजुटता बहुत जरूरी है।

इस दौरान सोनिया गांधी ने जी-23 समूह को भी कड़ा संदेश दिया। उन्होंने कहा कि, यदि जी-23 के नेताओं के सुझावों में कुछ दम होगा तो वे उन्हें स्वीकार करेंगी।

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