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Atiq-Ashraf Murder: नाम कमाने के लिए नहीं किया गया अतीक-अशरफ का कत्ल, मामला कुछ और ही है

Atiq-Ashraf Murder: अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ के हत्यारों का पुराना आपराधिक इतिहास रहा है। पुलिस अभी तीनों आरोपियों के बयानों पर भरोसा नहीं कर रही है।

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Atiq Ashraf Murder was not killed to earn name

अतीक-अशरफ के हत्यारे कासगंज, बांदा और हमीरपुर के हैं

प्रयागराज में अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ की 15 अप्रैल शनिवार रात साढ़े दस बजे हत्या कर दी गई। 3 हमलावरों ने दोनों भाई को मौत के घाट उतार दिया। अतीक-अशरफ को गोली से छलनी करने के बाद आरोपी दोनों हाथ खड़े करके खुद को सरेंडर कर दिया।

इसके बाद STF ने तीनों शूटरों को प्रयागराज की नैनी जेल से साेमवार दोपहर प्रतापगढ़ जेल में शिफ्ट किया गया । पुलिस ने इन आरोपियों को रविवार को डिस्ट्रिक कोर्ट में पेश किया था, जहां अदालत ने इन्हें 14 दिन की रिमांड पर भेज दिया है। तीनों आरोपियों से पुलिस लगातार पूछताछ कर रही है।

बार- बार बयान बदल रहे तीनों आरोपी
इस दौरान पता चला है कि तीनों आरोपियों का पुराना आपराधिक इतिहास रहा है। मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, पुलिस अभी तीनों आरोपियों के बयानों पर भरोसा नहीं कर रही है। क्योंकि तीनों आरोपी बार-बार अपना बयान बदल रहे थे।

आरोपियों में पूछताछ में कहा कि वे नौसिखिए हैं
आरोपियों का पुराना आपराधिक रिकॉर्ड क्या रहा है इस बारे में भी पुलिस जानकारी इकट्ठा कर रही है। आरोपियों में पूछताछ में कहा कि वे नौसिखिए हैं। अपराध की दुनिया में नाम कमाकर अतीक-अशरफ से भी ज्यादा बड़ा बदमाश बनने की खूनी चाहत में अंधे होकर, उन्होंने वो काम कर डाला, जिसे देखकर प्रयागराज वालों की क्या? अतीक-अशरफ के गुर्गों तक की रूह कांप गई होगी।

हमलावरों ने मर्डर खुद को चमकाने के लिए नहीं किया है
इस बारे में एक निजी टीवी चैनल वालों ने रॉ के रिटायर्ड डिप्टी सेक्रेटरी एनके सूद से बात की। जिसमें उन्होंने बताया, “यह मर्डर हमलावरों ने खुद को चमकाने के लिए बिलकुल नहीं किया है। जांच करवा ली जाए तो इसके पीछे कुछ बड़े माफिया और नेता इस षडयंत्र में शामिल मिलेंगे। वे माफिया और नेता जिनका अतीक-अशरफ ने जीना मुहाल कर रखा होगा।”

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एनके सूद ने कहा, “जिस वक्त पर अतीक-अशरफ की हत्या की गई, वो बेहद नाजुक वक्त चुना गया। जो देश-प्रदेश के साम्प्रदायिक सौहार्द की हवा बिगाड़ सकता था। क्योंकि हत्यारों को अगर सिर्फ खुद को चमकाना था और वे अतीक और उसके भाई को निपटाकर खुद बड़ा नामदार बदमाश बनने को लालायित थे, तो फिर उन्हें घटनास्थल पर धर्म-विशेष को लेकर नारेबाजी करने की क्या जरूरत थी?”

जांच हो जाए तो कोई बड़ी बात सामने आएगी
एनके सूद ने बताया, “रॉ में अपने 38 साल की नौकरी के अनुभव से कह सकता हूं कि अगर इन माफिया ब्रदर्स के डबल मर्डर की सही से जांच हो जाए तो कोई बड़ी बात सामने आएगी। क्योंकि कुछ कट्टर साम्प्रदायिक लोग और कुछ सफेदपोश या कोई बिल्डर लॉबी, इन लड़कों के पीछे खड़ी मिल जाएगी।”

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एनके सूद ने बताया, “यह एक प्लान्ड डबल मर्डर है। जिसके पीछे कोई मास्टरमाइंड जरूर रहा है। लड़के तो सिर्फ मोहरे हैं। असली वजह, सफेदपोश, क्रिमिनल गैंग्स और ब्लैक मनी हो सकती है। बशर्ते जांच सही दिशा में और जो मैं बता रहा हूं, उन एंगल्स से हो सके तब।”