
रिटायर्ड शिक्षक ने पेश मनवता की मिसाल... कहा मैंने तो जी लिया, पैसे बचाकर क्या करेंगे...
रायपुर । छत्तीसगढ़ के एक रिटायर्ड शिक्षक ने मनवता की मिसाल पेश की है। सेवानिवृत्त शिक्षक ने समाज के लिए अपनी पेंशन की राशि खर्च कर दी। रिटायर्ड शिक्षक पुसराम सिन्हा करीब 70 साल के हैं। उन्होंने अपने पेंशन की राशि ढाई लाख रुपए से एक मिनी वेंटिलेटर मशीन खरीद कर अपने माता पिता की स्मृति में बेरला के शासकीय अस्पताल को सौंपा। वयोवृद्ध सेवानिवृत्त शिक्षक बेमेतरा जिले के बेरला नगर के है।
शिक्षक समाज में ज्ञान की रोशनी फैलाता है। इस शिक्षक ने रिटायर्ड होने के बाद पेंशन राशि से मानवता का प्रकाश फैलाया है। इस रिटायर्ड शिक्षक की सोच बड़ी है। उनका कहना है कि वे अपना जीवन जी चुके हैं। पैसे बचाकर क्या करेंगे। इस पैसे से किसी की जान बचती है, किसी को नया जीवन मिलता है तो पैसे का इससे बेहतर उपयोग और नहीं हो सकता। कोरोना मरीजों को इसकी जरूरत है। इसीलिए उन्होंने पेंशन की रकम से मिनी वेंटिलेटर खरीदने का निर्णय लिया। चिकित्सकों ने बताया इस मशीन से ऐसे मरीजों का उपचार किया जा सकेगा जिनका ऑक्सीजन लेबल 80 से 90 के बीच रहता है।
क्षेत्र के जरूरतमंद मरीजों के लिए जीवनदायक
रिटायर शिक्षक पुसराम सिन्हा ने शुक्रवार को बेरला शासकीय अस्पताल को जैसे ही मशीन सौंपा तुरंत वहां भर्ती एक मरीज को उपलब्ध कराया गया। मरीज को इसकी जरूरत थी। रिटायर्ड शिक्षक सिन्हा ने यह देखकर कहा कि बैंक में रकम जमा रखने की बजाय सही समय में जरूरतमंदों के लिए उपकरण उपलब्ध कराना सही निर्णय है। बेरला बीएमओ डॉ. जितेन्द्र कुंजाम ने बताया कि यह उपकरण आपात स्थिति में मरीजों के लिए बहु उपयोगी है। मिनी वेंटिलेटर मशीन मिलने से क्षेत्र के जरूरतमंद मरीजों के लिए जीवनदायक साबित होगी।
बेटे ने कहा पिता के फैसले पर गर्व
अस्पताल को मशीन सौंपने के मौके पर मशीन सप्लाई करने वाली कंपनी की ओर से इंजीनियर भी पहुचे थे। उन्होंने चिकित्सकों और स्टाफ को संचालन संबधी पूरी जानकारी दी। इस अवसर पर दानदाता पुसराम सिन्हा के पुत्र ओमप्रकाश सिन्हा व अन्य परिजन मौजूद थे। पुत्र ने ओमप्रकाश ने कहा कि उन्हें अपने पिता के इस निर्णय पर बहुत गर्व है। पैसे का इससे बेहतर उपयोग और नहीं हो सकता।
Published on:
08 May 2021 05:31 pm
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