- इरिगेशन पाल, जे.के.गार्डन और नौ-चौकी पर लगी ओपन जिम, क्वालिटी पर उठे सवाल, नगर परिषद 8 स्थानों लगवाएगी ओपन जिम, अब तक चार स्थानों पर लगी
राजसमंद. शहर के पार्को में लगाए गए ओपन जिम के नए उकरण कबाड़ में तब्दील होने लग गए हैं, जबकि कई उपकरणों से अभी तक प्लास्टिक की थैलियां तक नहीं उतरी है। ऐसे में इसकी क्वालिटी पर सवालियां निशान लग रहे हैं। इसके बावजूद अधिकारी और न ही जनप्रतिनिधि इसकी सुध लेना उचित समझ रहे हैं। नगर परिषद की ओर से आठ स्थानों पर ओपन जिम लगाए जाने हैं। इसमें इरिगेशन गार्डन, जे.के. गार्डन, नौ चौकी पाल और धोईंदा स्कूल में उपकरण लगाए जा चुके हैं। इसके अलावा चार स्थानों पर उपकरण एवं कुछ स्थानों पर झूले-चकरी आदि लगाए जाने हैं। इस इन पर करीब 25 लाख रुपए खर्च होंगे। नगर परिषद के अधिकारी के अनुसार शेष स्थानों पर लगने वाले ओपन जिम के उपकरण आ गए हैं, जल्द ही उन्हें लगाने का काम शुरू होगा। नगर परिषद की ओर से जिस ठेकेदार को इसका टेण्डर दिया गया है वह इसकी तीन साल तक देखभाल भी करेगा। राजस्थान पत्रिका की टीम ने तीनों स्थानों पर लगाए गए उपकरणों की ली सुध।
इरिगेशन पाल : इरिगेशन पाल पर प्रतिदिन सुबह और शाम सैकडों लोग मॉनिंग वॉक पर आते हैं। कुछ लोग ओपन जिम के उपकरणों पर व्यायाम करते हैं। नगर परिषद की ओर से पहले ही यहां पर ओपन जिम का एक सेट लगा है। उसमें से अधिकांश उपकरण खराब हो गए। कुछ दिनों पहले गार्डन में एक सेट नए उपकरण लगाए गए। इसमें में कुछ उपकरणों की प्लास्टिक तक नहीं उतरी है, जबकि उनका रंग उतर गया है। उसमें तकनीकी खामियां की भरमार बताई जा रही है। बच्चों के लिए लगाए गए झूलों में से एक झूले की चारों सीट अभी तक नहीं लगाई गई है।
जे.के.गार्डन: शहर के कलेक्ट्रेट परिसर में भी ओपन जिम के पुराने उपकरणों की जगह नए उपकरण लगाए गए हैं। यहां भी इसमें से कुछ उपकरण गायब हो गए हैं। इसके साथ ही पैरों की एक्साइज के लिए लगए गए उपकरण इतनी ऊंचाई पर लगा दिए गए हैं, कि बुजुर्ग आदमी तो वहां तक पहुंच नहीं सकता है। कमर की करसत के लिए लगाया गया ट्विस्टर बिल्कुल अधर लगाया गया है। उसके चारों ओर लगे गोल चकरे के नीचे पत्थर आदि लगा रखे हैं। हालांकि यहां पर बच्चों के लिए लगाए झूले चकरी शानदार है, लेकिन ओपन जिम के उपकरणों की स्थिति खराब हो गई है।
नौ-चौकी पाल: नौ-चौकी पाल पर ओपन जिम के उपकरण लगे हुए हैं। यहां पर देखने पर प्रतीत होता है कि पुराने उपकरणों को ही दुरुस्त किया गया है। अधिकांश उपकरण इतने ऊंचाई पर लगाए गए है कि वहां तक उम्र दराज व्यक्ति को बैठने में परेशानी होती है। ट्विस्टर के नीचे पत्थर लगाए गए हैं। यहां पर भी प्रतिदिन सैकडों लोगों की आवाजाही होती है। उपकरणों में पैकिंग के लिए लगाए जाने वाले रबड़ गायब है। इसके कारण व्यायाम करते समय उपकरण सीधे खम्भे से टकराते है, जबकि उन पर रबड़ लगाए जाने चाहिए। इसी प्रकार कई तकनिकी खामियां साफ दिखाई दे रही है।
यह भी होना चाहिए
- ओपन जिम की मशीनों पर उनके नाम लिखे होने चाहिए। गार्डन में एक जगह उपकरणों की पूरी जानकारी लिखी होनी चाहिए। इसमें किस मशीन पर व्यायाम करने से क्या फायदा होता है इसकी जानकारी होनी चाहिए।
- ओपन जिम के सभी उपकरणों की तकनीकी जांच होनी चाहिए कि वह तकनीकी रूप से सही है या नहीं। मैजरमेंट गलत होने से भी इस पर व्यायाम करने वालों को नुकसान पहुंच सकता है।
- प्रत्येक गार्डन में उपकरणों की लागत और फर्म आदि के नम्बर लिखे होने चाहिए। साथ ही उपकरण खराब होने पर किस अधिकारी के फोन नम्बर अंकित होना चाहिए।