
रामपुर. स्वार-टांडा से विधायक अब्दुल्ला आजम के 2-2 जन्म प्रमाण पत्र के मामले में आजमखान ने हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। जन्म प्रमाणपत्र बनवाने के आरोप में गंज थाने में आजम खान, उनकी पत्नी डाॅक्टर तंजीन फात्मा (राज्यसभा सांसद) आैर बेटा अब्दुल्ला (विधायक) के खिलाफ धोखाधड़ी समेत कई गंभीर धारा में मुकदमा दर्ज हुआ था। दर्ज मुकदमे को खारिज कराने और गिरफ्तारी पर रोक की मांग को लेकर आजम खान ने हाईकोर्ट की शरण ली है। उनकी याचिका पर कोर्ट में 14 मार्च को सुनवाई होगी।
बता दें कि 19 दिसंबर 2018 को भाजपा के लघु उद्योग प्रकोष्ठ के क्षेत्रिय संयोजक आकाश सक्सेना ने लखनऊ में प्रमुख सचिव गृह को एक ज्ञापन सौंपा था। ज्ञापन में अब्दुल्ला के 2—2 जन्म प्रमाण पत्र होने की बात कही थी। मामले की जांच प्रमुख सचिव गृह ने रामपुर के एसपी को सौंपी थी। बाद में 3 मार्च 2019 को गंज थाने में आजम खान, उनकी पत्नी डाॅक्टर तंजीन फात्मा (राज्यसभा सांसद) आैर बेटा अब्दुल्ला (विधायक) के खिलाफ मुकदमा दर्ज हुआ था।
बताया गया है कि एक जन्म प्रमाण पत्र रामपुर नगरपालिका तो दूसरा लखनऊ नगर निगम से जारी हुआ है। दायर याचिका में आजम ने मुकदमा खारिज कराने की मांग की है। उन्होंने कहा कि लखनऊ नगर निगम से जारी अब्दुल्ला का जन्म प्रमाण पत्र फर्जी नहीं है। स्कूल और कॉलेज के रिकार्ड में गलती से जन्मतिथि 1993 दर्ज हुई है। उन्होंने कहा है कि पारावारिक मित्र शाहबेज खां ने स्कूल में गलती से अब्दुल्ला की जन्मतिथि 1993 में दर्ज करा दी थी। यहीं जन्मतिथि अब्दुल्ला के हाईस्कूल, इंटरमीडिएट, बीटेक और एमटेक में दर्ज है। एमटेक फाइनल ईयर के दौरान नौकरी के लिए अप्लाई करते समय रिकार्ड में गलत लिखी गई जन्मतिथि को ठीक कराने की मांग की गई थी। उसमें लखनऊ के क्वीन मेरी अस्पताल के रिकार्ड का हवाला दिया गया था। उन्होंने याचिका में कहा है कि अब्दुल्ला की सही जन्म तिथि 1990 है।
Published on:
13 Mar 2019 11:35 am
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