
Maa Katyayani Aarti: आज होगा मां कात्यायनी का पूजन, इस आरती से करें देवी की स्तुति
Maa Katyayani Aarti: इस साल 1 अक्टूबर को शारदीय नवरात्रि का षष्ठी तिथि है। नवरात्र के छठे दिन मां कात्यायनी की आराधना की जाती है। शास्त्रों के अनुसार मां कात्यायनी की सवारी शेर है। देवी की चार भुजाओं हैं। मान्यता है कि जो कोई सच्चे मन से मां कात्यायनी की पूजा करता है उसे यश, प्रसिद्धि, शक्ति और सफलता प्राप्त होती है। दुर्गा देवी के छठे रूप को महिषासुर मर्दिनी भी कहा जाता है। नवरात्रि की षष्ठी तिथि को पूजन के अंत में मां कात्यायनी की आरती करनी चाहिए। मान्यता है कि धूप-दीप से मां की आरती करने से वह प्रसन्न होकर सभी मनोकामनाएं पूर्ण करती हैं। आइए जानते हैं मां कात्यायनी की आरती...
मां कात्यायनी की आरती
जय जय अम्बे, जय कात्यायनी।
जय जगमाता, जग की महारानी।
बैजनाथ स्थान तुम्हारा।
वहां वरदाती नाम पुकारा।
कई नाम हैं, कई धाम हैं।
यह स्थान भी तो सुखधाम है।
हर मंदिर में जोत तुम्हारी।
कहीं योगेश्वरी महिमा न्यारी।
हर जगह उत्सव होते रहते।
हर मंदिर में भक्त हैं कहते।
कात्यायनी रक्षक काया की।
ग्रंथि काटे मोह माया की।
झूठे मोह से छुड़ाने वाली।
अपना नाम जपाने वाली।
बृहस्पतिवार को पूजा करियो।
ध्यान कात्यायनी का धरियो।
हर संकट को दूर करेगी।
भंडारे भरपूर करेगी।
जो भी मां को भक्त पुकारे।
कात्यायनी सब कष्ट निवारे।
जय जय अम्बे, जय कात्यायनी।
जय जगमाता, जग की महारानी।
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Updated on:
30 Sept 2022 05:06 pm
Published on:
30 Sept 2022 05:05 pm
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