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बिल भुगतान के बदले रकम का आधा हिस्सा मांग रहा था बाबू, लोकायुक्त ने पकड़ा तो जानिए क्या बोला

- सात हजार के बिल में 3200 रुपए ले रहा था रिश्वत - गंगा कछार कार्यालय में लोकायुक्त की रीवा टीम ने की कार्रवाई

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रीवा

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Mrigendra Singh

May 16, 2019

rewa

Lokayat Trap action in Rewa, mpwrd Employee caught taking bribe

रीवा। जलसंसाधन विभाग में पदस्थ बाबू को रिश्वत लेते हुए उसके ही कार्यालय में गिरफ्तार किया गया है। यह कार्रवाई उस समय हुई जब गंगा कछार कार्यालय में बिल भुगतान के बदले बाबू रिश्वत ले रहा था। लोकायुक्त पुलिस की २० सदस्यीय टीम मौके पर पहुंची और बाबू को हिरासत में लेते हुए कार्रवाई पूरी की।

बताया गया है कि महेश कुमार पटेल निवासी जमुई(त्योंथर) जो जलसंसाधन विभाग के नईगढ़ी सूक्ष्मदाब परियोजना में स्टेशनरी सप्लाई और फोटोकापी का कार्य करता था। इसका भुगतान 7103 रुपए बकाया था। महेश की पत्नी के नाम पर बिल प्रस्तुत किया गया था। जिसका भुगतान करने के बदले परियोजना में पदस्थ बाबू नवीन कुमार शुक्ला सहायक ग्रेड-३ ने पहले तो रुपए का भुगतान करने में कई अड़चन बताई, बाद में कहा कि इसका आधा हिस्सा देगा तो भुगतान कराने की प्रक्रिया अपनाई जाएगी। महेश ने बाबू के साथ ही हुई बातचीत रिकार्ड की और आडियो लोकायुक्त कार्यालय को सौंपा। लोकायुक्त एसपी ने इस मामले की जांच कराई और कार्रवाई के लिए टीम भेजा।

लोकायुक्त कार्यालय से महज सौ मीटर से भी कम दूूरी पर जलसंसाधन विभाग के गंगा कछार का कार्यालय है। यहां पर पहुंचकर टीम ने बाबू नवीन कुमार को गिरफ्तार कर लिया। उसके विरुद्ध भ्रष्टाचार अधिनियम के तहत प्रकरण दर्ज कर कार्रवाई शुरू की गई है।


- रिश्वत के नोट जिस शर्ट में डाली वह भी जब्त
बाबू ने ३२०० रुपए लेने के बाद जिस शर्ट की जेब में रखे, उसे लोकायुक्त ने जब्त कर लिया है। बाद में उसके चाणक्यपुरी स्थित आवास से दूसरी शर्ट मंगाई गई और पहनने के लिए दी गई।


- भ्रष्टाचार को लेकर पहले से चर्चित है परियोजना
बाणसागर परियोजना में हुए भ्रष्टाचार के चलते यह पहले से चर्चित है। यहां पर इसके पहले कई अधिकारी, कर्मचारी रिश्वत लेते हुए पकड़े जा चुके हैं। भुगतान के नाम पर करोड़ों रुपए की हेराफेरी करने के चलते इओडब्ल्यू में प्रकरण भी दर्ज है। जिस पर कई चालान कोर्ट में पेश हो चुके हैं। इओडब्ल्यू और लोकायुक्त की ओर से कई अफसरों के घरों में छापामार कार्रवाई भी हो चुकी है, जहां पर करोड़ों में अनुपातहीन संपत्ति का खुलासा हुआ है। पूर्व में हुए भ्रष्टाचार के खुलासे के बाद भी विभाग अपने अफसरों और कर्मचारियों पर नकेल नहीं कस पा रहा है।

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जलसंसाधन विभाग के बाबू के विरुद्ध बिल भुगतान के बदले रिश्वत लेने की शिकायत मिली थी। जांच के बाद टीम भेजी गई, जहां 3200 रुपए लेते हुए उसे पकड़ा गया है। मामले की विवेचना की जा रही है।
राजेन्द्र वर्मा, एसपी लोकायुक्त