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आठ माह के बच्चे की श्वांस नली में फंस गए थे बादाम के दाने, संजय गांधी अस्पताल रीवा में हुई जटिल सर्जरी

रीवा. संजय गांधी अस्पताल रीवा में रिजिट वीडियो ब्रांको स्कॉपी विधि से सफल सर्जरी कर, कीर्तिमान स्थापित किया गया है। इस अत्यंत जटिल ऑपरेशन को इएनटी विशेषज्ञ डॉ. मोहम्मद अशरफ के नेतृत्व में अंजाम दिया गया है। विशेष बात यह थी कि बच्चा आठ माह का था और उसके श्वांस नली में बादाम के दाने फंसे हुए थे। बच्चे के पिता दिलीप कुमार ने बताया कि उनका बेटा अब पूरी तरह से स्वास्थ्य है।

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REWA : Almond seeds were stuck in the child's windpipe

REWA : Almond seeds were stuck in the child's windpipe

दिव्यराज साकेत पिता दिलीप कुमार साकेत उम्र 8 माह निवासी ग्राम हर्दी तहसील हुजूर जिला रीवा की तबियत अचानक बिगड़ गई। उसको श्वांस लेने में तकलीफ हो रही थी। जिससे परिजन बच्चे को लेकर एक निजी अस्पताल में पहुंचे। जहां एक-दो दिन इलाज के बाद भी बच्चे की तबियत जब बिगडऩे लगी तो उसको मेडिकल कॉलेज रीवा के लिए रेफर कर दिया गया। अत्यंत गंभीर हालत में बच्चे को संजय गांधी अस्पताल के पिडियाट्रिक विभाग के आइसीयू में भर्ती कराया गया।

श्वांस नली में फंसे थे बादाम के दाने
चिकित्सकों द्वारा जब बच्चे की सोनोग्राफी कराई तो पाया गया कि उसके श्वांस नली में छाती के पास बादाम के दाने फंसे हुए हैं। जिससे उसको श्वांस लेने में दिक्कत हो रही थी। बच्चे की लगातार बिगड़ती हालत को देखकर डॉक्टरों ने आनन-फानन ने श्वांस नली में ऑपरेशन करने का निर्णय लिया।

ऐेसे दिया ऑपरेशन को अंजाम
वरिष्ठ सर्जन डॉ. अशरफ के अनुसार श्वांस नली में दूरबीन डालकर एक अत्यंत पतली संसी के सहारे बड़ी सावधानी से बादाम के टुकड़ों को पकडकऱ सफलतापूर्वक बाहर निकाला गया। इस प्रक्रिया में श्वांस नली में कुछ हल्की खरोच जरूर आई लेकिन ऑपरेशन पूरी तरह से सफल रहा और बच्चा अब पूरी तरह से ठीक है। बताया कि यह प्रक्रिया इसलिए रिस्की है कि यदि टूल्स छूट जाते तो बच्चे की जान जा सकती थी। इस सर्जरी को रिजिट वीडियो ब्रांको स्कॉपी कहा जाता है।

सर्जन ने खुद इंतजाम की साम्रगी
रिजिट वीडियो ब्रांको स्कॉपी विधि की सर्जरी में जिस टूल्स यानी सहायक सामग्री का इस्तेमाल किया गया जाता है वे अत्यंत बारीक होते हैं। यह सामग्री अस्पताल में उपलब्ध नहीं है। जिससे डॉ. अशरफ ने इस सर्जरी के लिए खुद सहायक सामग्री का इंतजाम किया और बच्चे की जान बचाने में अहम भूमिका निभाई।

ऑपरेशन टीम में शामिल विशेषज्ञ
श्वांस नली में दूरबीन डालकर किए गए इस जटिल ऑपरेशन को अंजाम देने वाली टीम में प्रमुख रूप से वरिष्ठ सर्जन डॉ. मो. अशरफ, डॉ. नीरज, डॉ. सुरभि, डॉ. हर्षित, डॉ. अनिल, डॉ. कुलदीप सहित एनस्थिसिया टीम शामिल रही।

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बच्चा छोटा है जिससे रिजिट वीडियो ब्रांको स्कॉपी विधि का सहारा लिया गया और ऑपरेशन सफल रहा। इस प्रकार की सर्जरी में बहुत खतरा रहता है। बच्चा अब पूरी तरह से ठीकठाक है। संजय गांधी अस्पताल में इस प्रकार की सर्जरी आसानी हो रही है, इसलिए मरीजों को बाहर नहीं जाना पड़ेगा।
डॉ. मोहम्मद अशरफ नामित प्रोफेसर व सर्जन
संजय गांधी अस्पताल रीवा