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बीना. पुलिस थाने में लगे सीसीटीवी कैमरे केवल शो-पीस का काम कर रहे हैं, क्योंकि इसकी रिकॉर्डिंग न होने के कारण इनसे किसी भी प्रकार की जानकारी जरूरत के समय नहीं मिल पाती है। पुलिस थाने में ऐसे कई मामले सामने आते हैं, जिनमें सीसीटीवी कैमरों से फुटेज की जरूरत पड़ती है, लेकिन कैमरों की रिकॉर्डिंग नहीं होती है यह कैमरे केवल लाइव वीडियों के रूप में चलते हैं। इस बात का खुलासा तब हुआ जब 23 जुलाई की शाम में एक युवक के साथ एक पीएसआई व कुछ पुलिसकर्मियों ने मारपीट की थी। जिसकी जानकारी जुटाने के लिए एएसपी, एसडीओपी के लिए करीब दो घंटे से ज्यादा का समय लग गया था, लेकिन फिर भी कोई जानकारी नहीं मिल सकी थी। यदि थाने में लगे कैमरों की रिकॉर्डिंग चालू होती तो निश्चित ही तुरंत इस बात का पता चल जाता कि आखिर में कौन पुलिसकर्मी घटनाक्रम में शामिल हैं। बुधवार को जानकारी के आभाव में बेकसूर पुलिसकर्मियों पर निलंबन की कार्रवाई की जा रही थी, लेकिन समय रहते इस बात का खुलासा हो गया, जिसके बाद घटना में लिप्त पुलिसकर्मियों पर कार्रवाई की गई। जब मामले में पुलिस ही उलझ गई तो एएसपी विक्रम सिंह ने सीसीटीवी के फुटेज निकालने के लिए कहा ताकि सही बात सामने आ सके। तब उन्हें पता चला कि पुलिस थाने में लगे सीसीटीवी कैमरों की रिकार्डिंग नहीं की जाती है। एएसपी ने इस संबंध में थाना प्रभारी के लिए भी फटकार लगाई कि इस प्रकार की गलती क्यों की जा रही है।
बखौफ होकर पुलिसकर्मी ले लेते हैं घूस
जब कोई फरियादी किसी भी घटना की रिपोर्ट कराने के लिए पुलिस थाने जाता है या फिर किसी अपराधी को किसी मामले मे थाने बुलाया भी जाता है तो उनसे पुलिसकर्मी घूस लेने में जरा भी नहीं हिचकिचाते हैं। क्योंकि उन्हें इस बात की जानकारी है कि थाने के कैमरे बिना रिकॉर्डिंग हैं जहां से कोई जानकारी लीक नहीं हो सकती है। इस संंबंध में कुछ लोगों ने बुधवार को एएसपी से भी शिकायत की है।
Published on:
26 Jul 2019 09:00 am
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