18 दिसंबर 2025,

गुरुवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

गुरुनानक देव के प्रकाश पर्व रोशनी से जगमग हुआ गुरुद्वारा, आज निकलेगा नगर कीर्तन

. कार्तिक माह की पूर्णिमा पर सिख समाज के पहले गुरु गुरुनानक देव का 555 वां प्रकाश पर्व धूमधाम से मनाया जाएगा। प्रकाश पर्व पर भगवानगंज स्थित गुरुद्वारा रोशनी से जगमग हो गया है। आयोजनों की शुरुआत 13 नवंबर बुधवार से होगी। गुरुद्वारे से नगर कीर्तन निकाला जाएगा, जो कि नगर के प्रमुख मार्गोँ से होता हुआ गुरुद्वारा भगवानगंज में संपन्न होगा।

2 min read
Google source verification

सागर

image

Reshu Jain

Nov 13, 2024

gurudwara

gurudwara

कीर्तन में शामिल होगी अमृतसर की गतका पार्टी, हैरतअंगेज होंगे प्रदर्शन

सागर. कार्तिक माह की पूर्णिमा पर सिख समाज के पहले गुरु गुरुनानक देव का 555 वां प्रकाश पर्व धूमधाम से मनाया जाएगा। प्रकाश पर्व पर भगवानगंज स्थित गुरुद्वारा रोशनी से जगमग हो गया है। आयोजनों की शुरुआत 13 नवंबर बुधवार से होगी। गुरुद्वारे से नगर कीर्तन निकाला जाएगा, जो कि नगर के प्रमुख मार्गोँ से होता हुआ गुरुद्वारा भगवानगंज में संपन्न होगा। कीर्तन सुबह 11.30 बजे से शुरू होगा। कीर्तन में अमृतसर की गतका पार्टी शामिल होगी। इसके साथ खुरई, बीना और गंजबासौदा की संगत शामिल होगी।इसके बाद का लंगर अतुट बरतेगा। गुरु के लंगर की सेवा सरदार गुरमीत सिंघ उपवेजा परिवार की ओर से होगी। 15 नवंबर को जयंती के अवसर पर सुबह 9 बजे अखंड पाठ साहिब का समापन होगा। सुबह 9.30 बजे से 11 बजे आरती एवं शबद कीर्तन का आयोजन होगा। हजूरी रागी जत्था ज्ञानी गुरुवचन सिंघ एवं रागी जत्था भाई दविंदर सिंघ निरोल छत्तीसगढ़ वाले सुबह 11 बजे से दोपहर 12.30 बजे शबद कीर्तन करेंगे। दोपहर 12.30 बजे निशान साहिब की सेवा आहलूवालिया परिवार करेगा। दोपहर 1 बजे प्रोग्राम की समाप्ति उपरांत गुरु का लंगर अतुट बरतेगा।

रात में कीर्तन

15 नवंबर को रात्रि में 8 बजे से कार्यक्रम की शुरुआत होगी। रात्रि 10 से 10. 30 बजे शबद कीर्तन होगा। रात्रि में 9.30 बजे से गुरु के लंगर की सेवा होगी। गुरु सिंघ सभा के अध्यक्ष सतेंदर सिंह होरा ने बताया कि गुरु नानक जयंती उत्सव तीन दिनों तक चलता है। इसे प्रकाश पर्व भी कहा जाता है। सिख समुदाय के लोग तीन दिनों तक गुरुद्वारे में अखंड पाठ का आयोजन करते हैं। इसके अलावा गुरु ग्रंथ साहिब का पाठ किया जाता है। भजन और कीर्तन किए जाते हैं और लोगों को पूजा सेवाएं प्रदान की जाती हैं। सुबह से प्रभातफेरी निकाली जाती है।