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इस सीट पर हाे सकता है भाजपा काे नुकसान, नाराज ग्रामीणाें ने कर दिया ये काम, देंखे वीडियाे

देवबंद विधायक के खिलाफ फूटा ग्रामीणाें का गुस्सा, पहले फूंका पुतला फिर बुलाई पंचायत वजह जानकर हैरान रह जाएंगे आप

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BJP news

saharanpur

सहारनपुर/देवबंद

देवबंद विधायक कुंवर ब्रिजेश सिंह के खिलाफ गुरुवार काे रणखंडी गांव के ग्रामीणाें ने आस्तीनें चढ़ाते हुए माेर्चा खाेल दिया। गुस्साए ग्रामीणाें ने विधायक के खिलाफ जमकर नारेबाजी की आैर पुतले काे आग के हवाले कर दिया। इतने में भी ग्रामीणाें का गुस्सा नहीं थमा आैर पुतला जलाने के बाद ग्रामीणाें ने गांव में एक पंचायत बुलाई जिसमें विधायक की जमकर खिलाफत करते हुए वाेट ना देने की बात तक कही दी। देवबंद विधान सभा क्षेत्र के सबसे अधिक आबादी वाले गांव के ग्रामीण किस बात पर क्षेत्रीय विधायक से गुस्सा हैं ? यह हम आपकाे इसी खबर में आगे बताएंगे लेकिन चुनावी साल में यह संकेत अच्छे नहीं है आैर इस बात से इंकार नहीं किया जा सकता है कि इसका असर आगामी 2019 चुनाव पर पड़ सकता है आैर भाजपा के लिए इस सीट पर मुश्किलें हाे सकती हैं।

ग्रामीण इस बात काे लेकर हैं गुस्सा

ग्रामीणाें के मुताबिक देवबंद विधायक कुंवर ब्रिजेश के गांव जड़ाैदा जट्ट में श्रीराम कथा चल रही थी। इसी कार्यक्रम में शामिल हाेने के लिए ग्रामीण भी उनके घर पहुंचे। ग्रामीणाें के मुताबिक बैठने के लिए कुर्सियां नहीं थी इसलिए वह दरी बिछाकर नीचे ही बैठ गए। उनके नीचे बैठने पर विधायक काे एतराज हुआ आैर उन्हाेंने ग्रामीणाें ने काे उठने के लिए कहा। ग्रामीणाें के मुताबिक इस तरह से विधायक आवास पर उनका अपमान हुआ आैर इसी अपमान से क्षुब्ध हाेकर वह विधायक के आवास से अपने गांव वापस लाैट आए। गांव में वापस लाैटे ग्रामीणाें ने विधायक का पुतला जलाया आैर फिर एक पंचायत का अयाेजन करके अपने गुस्से का इजहार किया।

क्या कहते हैं विधायक

देवबंद विधान सभा सीट से विधायक कुंवर ब्रिजेश सिंह का कहना है कि उनके घर पर धार्मिक कार्यक्रम चल रहा था। अभी पूजा अर्चना शुरु हाेनी थी इससे पहले ही ग्रामीण ट्रैक्टर ट्राली लेकर उनके घर पर आ गए आैर धरना दे दिया। गनर ने उनसे उठने के लिए कहा। विधायक के मुताबिक उन्हाेंने ग्रामीणाें से कहा कि यह राजनीतिक कार्यक्रम नहीं है धार्मिक कार्यक्रम में इस तरह से धरना देना उचित नहीं है यदि काेई समस्या है ताे पहले उसके बारे में बताना चाहिए था। विधायक का यह भी कहना है कि रणखंडी गांव में 90 फीसदी लाेग उनके व्यवहार से भलि भांति परिचित हैं।