
Vishwash Rao sabji Mandi Satna
सतना. विश्वासराव फल-सब्जी मंडी में गंदगी के बीच व्यापारियों द्वारा दूषित और सड़ी-गली सब्जी बेचने की पत्रिका द्वारा प्रकाशित खबर को संज्ञान लेते हुए प्रशासन ने सोमवार को थोक फल-सब्जी मंडी में दबिश देकर दुकानों में रखे फल-सब्जी की जांच की। कलेक्टर मुकेश कुमार शुक्ला के निर्देश पर दोपहर 12 बजे एसडीएम ओमनारायण सिंह के नेतृत्व में खाद्य एवं औषधि विभाग व निगम की संयुक्त टीम सब्जी मंडी पहुंची और दुकानों की जांच शुरू की। इस दौरान सब्जी व्यापारियों की दुकानों में दूषित और सड़े-गले फल व सब्जी का भारी मात्रा में स्टॉक मिला। इसके सैम्पल लेते हुए एसडीएम ने दूषित फल-सब्जी को तुरंत डिस्पोज करने के निर्देश दिए। अधिकारियों के आदेश पर पांच क्विंटल से अधिक सड़े गले पपीता, सेब, बैंगन, मिर्च तथा आलू स्टोर से उठाकर नाले में फेंकवाया गया।
बिना लाइसेंसी कारोबारियों पर कार्रवाई प्रस्तावित
जांच के दौरान अधिकारियों ने जब व्यापारियों से दुकानों के लाइसेंस एवं रजिस्टे्रशन मांगे तो उनके हाथ-पांव फूलने लगे। जांच में जो व्यापारी अवैध रूप से व्यापार करते पकड़े गए उनमें महेश कुमार, मुकेश कुमार एंड ब्रदर्स तथा मनोज कुमार-अभिषेक कुमार हैं। इसके अलावा दुकान में गंदगी और दूषित फल-सब्जी मिलने पर रामप्रताप कुशवाहा, इंद्र कुमार सेवानी, रामदुलारे कुशवाहा, रोहित भलवानी, लोकचंद- शंकरलाल, पुरुषोत्तमदास कछवाह तथा राधे-राजेन्द्र के खिलाफ दूषित खाद्य सामग्री बेचने का प्रकरण तैयार कर कार्रवाई प्रस्तावित की गई।
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अध्यक्ष पर कार्रवाई प्रस्तावित
टैक्स बचाने के चक्कर में दलदल में तब्दील हो चुकी पुरानी मंडी में कारोबार करने पर अड़े विंध्य फल सब्जी विक्रेता संघ के अध्यक्ष रामप्रताप कुशवाहा उपभोक्ताओं को सड़ी-गली सब्जी बेचते पाए गए। अध्यक्ष की दुकान में 15 किलो से अधिक सड़ा बैंगन मिला। जिसे जांच टीम ने मौके पर ही डिस्पोज कराया। उनकी दुकान में भारी मात्रा में सड़ी प्याज एवं लहसुन का स्टाक मिला जिसके सैम्पल भरते हुए अध्यक्ष पर कार्रवाई प्रस्तावित की गई।
खाद्य सामग्री विक्रय के लिए उपयुक्त नहीं मंडी
जांच टीम को दुकानों के अंदर और बाहर भारी गंदगी व कीचड़ मिला। जांच के दौरान कुछ व्यापारी गंदगी के बीच सब्जी बेचते नजर आए। उन्हें दुकान बंद करने के निर्देश दिए गए। मंडी की दुकानों एवं नर्क में तब्दील परिसर को देख अधिकारी इस नतीजे पर पहुंचे कि विश्वासराव फल सब्जी मंडी खाद्य पदार्थ के विक्रय एवं स्टाक के लिए उपयुक्त नहीं है। जांच में बाद अधिकरियों ने जो प्रतिवेदन तैयार किया, उसमें मंडी क्षेत्र को खाद्य पदार्थ विक्रय के लिए अनुपयुक्त मानते हुए इसमें फल एवं सब्जी का कारोबार प्रतिबंधित करने की सिफारिश की गई है।
जांच टीम से तनातनी
जैसे ही जांच टीम ने कार्रवाई शुरू की, व्यापारियों में हडक़ंप मच गया। कुछ व्यापारी दुकानों में कुंडी चढ़ाकर भाग खड़े हुए, जो नहीं भाग सके वह कार्रवाई रुकवाने अधिकारियों से तनातनी पर उतर आए। कुछ ने जब अधिकारियों को दुकान में जांच करने से रोका तो अभिहित अधिकारी ओमनारायण सिंह ने सख्ती दिखाते हुए विरोध कर रहे व्यापारियों पर शासकीय कार्य में बाधा डालने का प्रकरण तैयार कर दुकान सीज करने के निर्देश दिए। इस पर दुकानदारों की सांस फूलने लगी। अधिकारियों की सख्ती देख व्यापारियों के तेवर ठंडे पड़ गए।
मंडी की दुर्दशा देख सहमे अधिकारी
कलेक्टर के निर्देश पर विश्वासराव सब्जी मंडी की जांच करने पहुंचे अधिकारियों ने जैसे ही मंडी के अंदर कदम रखा मंडी की दुर्दशा देख उनकी सांसें फूलने लगीं। कीचड़ व गंदगी से बजबजा रही मंडी को देख अधिकारियों के समझ में नहीं आ रहा था कि वे दुकानों तक कैसे पहुंचे। किसी तरह कूदते-उछलते दुकानों तक पहुंचे। दुकानदारों को फटकार लगाते हुए कहा कि यह मंडी है या नर्क। यहां पर तो कोई कचरा भी डालना पसंद नहीं करेगा। आप लोग इस मंडी में बैठकर खाद्य सामग्री बेच रहे हैं। अपने मुनाफे के लिए जनता को दूषित सब्जी खिलाकार मरना चाहते हो क्या।
डेढ़ दर्जन सैम्पल लिए
अभिहित अधिकारी ओमनारायण सिंह ने फल के कैरट व सब्जियों के बोरे जमीन पर पलटवा कर अपने हाथ से फल एवं सब्जियों की गुणवत्ता परखी। जांच में दुकानों में स्टोर अधिकांश स्टाक खराब पाया गया। जांच अधिकारी ने दुकानों में भंडारित पांच क्विंटल से अधिक सड़े-गले फल व सब्जियां डिस्पोज कराई। दुकानों में भंडारित आलू, प्याज, मिर्च, अदरक, टमाटर, सेव तथा पपीता के डेढ़ दर्जन सेम्पल भरवाए। उन्हें जांच के लिए भोपाल भेजा जाएगा
Published on:
21 Aug 2018 09:19 am
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