
सवाईमाधोपुर. टीबी(क्षय) रोग के निदान व रोगियों को पर्याप्त सुविधाएं व उपचार उपलब्ध कराने के लिए भारत सरकार ने हाल ही में गजट नोटिफिकेशन जारी किया है। इसके तहत अब चिकित्सकों व दवा विके्रताओं को टीबी के रोगी की सारी जानकारी रखनी होगी। साथ ही सारी सूचनाएं एकत्र कर नोडल अधिकारी को देनी होगी। वहीं यदि टीबी का रोगी निजी क्लिनीक पर जाकर इलाज कराता है
तो रोगी व उपचार के संबंध में सारी जानकारी संबंधित चिकित्सकों को रखनी होगी। इसके लिए चिकित्सक को निर्धारित पपत्र में रोगी का नाम, रोगी की पहचान संख्या, डीओटी पिल्स, टेस्ट परिणाम आदि सूचनाएं भरकर देना होगी। इसी प्रकार दवा विके्रता द्वारा दवा देने पर उन्हें दवा की पर्ची की प्रति के साथ मरीज से संबंधित सूचनाएं नोडल अधिकारी को देनी होंगी।
नहीं तो होगी कार्रवाई
क्लिनीकल संस्था, चिकित्सक आदि की ओर से रोगी के बारे में आवश्यक जानकारियां व सूचनाएं नहीं देने पर उनके खिलाफ कार्रवाई का प्रावधान भी किया गया है। इस संबंध में आईपीसी की धारा 269 व 270 के तहत सजा का प्रावधान है।
नए आदेश मिले हैं...
भारत सरकार की ओर से जारी किए गए नोटिफिकेशन के तहत क्षय रोग के निदान व उपचार के लिए चिकित्सक क्लिनीक आदि पर उपचार होने पर व दवा विके्रता द्वारा क्षय रोगी को दवा देनेे पर रोगी की सूचना रखना अनिवार्य है। उन्हें यह सूचना नोडल अधिकारी को भिजवानी होगी।
विनय कुमार, जिला ड्रग कंट्रोल अधिकारी, सवाईमाधोपुर।
जल संरक्षण का बताया महत्व
सवाईमाधोपुर. जिला विधिक सेवा प्राधिकरण के तत्वावधान में गुरुवार को बालिका उमा आदर्श विद्या मंदिर मानटाउन में विधिक जागरुकता शिविर का आयोजन किया गया। अधिवक्ता राजेन्द्र यादव ने बताया कि इस अवसर पर छात्राओं को जल संरक्षण के महत्व के बारे में जानकारी दी गई। इसी क्रम मेें खैरदा स्थित आंगनबाड़ी केन्द्र पर भी शिविर का आयोजन हुआ। इसमें पैनल अधिवक्ता नंदकिशोर बैरवा व सुनिता जोनवाल ने विद्यार्थियों को जल संरक्षाण के बारे में जानकारी दी। इसी प्रकार बम्बोरी स्थित आंगनबाड़ी केन्द्र पर भी शिविर लगाया गया। पैनल अधिवक्ता वीरेन्द्र कु मार वर्मा ने जल संरक्षण के उपायों के बारे में जानकारी दी।
Published on:
23 Mar 2018 09:37 pm
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