
रणथम्भौर क्षेत्र से सटे होटलों का जंंगल में दखल बढ़ रहा है, लेकिन ये दखल वन विभाग के अधिकारियों को नजर नहीं आ रहा है।होटलों ने क्रिटिकल टाइगर हेबीटेट क्षेत्र में होटलों से पानी के पाइप निकालकर जंगल में छोड़ रखे हैं।
इन पाइप के जरिए ही वाटर होल भरते हैं, लेकिन होटल वाले वन्यजीवों की सेवा के लिए ये काम नहीं कर रहे हैं, बल्कि इसके पीछे भी उनका स्वार्थ छिपा हुआ है। जानकारी के अनुसार वह सुबह व रात को अंधेरे में पर्यटकों को वाटर होल में आने वाले बाघ व अन्य वन्यजीवों की साइटिंग कराते हैं। झूमरबाड़ी वन क्षेत्र में ऐसा आलम देखा जा सकता है।
होटल के ठीक पीछे ही वाटर होल क्यों...
झूमरबाड़ी वन क्षेत्र में एक होटल ने अपने यहां से निकालकर जंगल में बिछा रखा है। वहीं वन विभाग की मेहरबानी से वाटर होल भी होटल के ठीक सामने बनाया गया है। वाटर होल के ठीक सामने ही होटल का वॉच टावर है, जहां से इन वन्यजीवों को आसानी से देखा जा सकता है। वन विभाग की ओर इस बारे में कोई रोकटोक भी नहीं की गई है। वन विभाग चाहता तो वाटर होल को होटल से दूर भी बनाया जा सकता है।
हां साइटिंग होती थी
होटल की ओर से पाइप बिछाई गई है, ताकि वहां पर वाटर होल भरा जा सके। होटल वालों की ओर से वर्तमान में कोई साइटिंग नहीं कराई जाती है। हां जब टी-24 तब तो फिर भी साइटिंग होती थी, लेकिन अब ऐसा नहीं है।
प्रहलाद सिंह, क्षेत्रीय वनाधिकारी, आरओपीटी, रणथम्भौर, सवाईमाधोपुर
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