
Rajasthan Assembly Election 2023 : सवाई माधोपुर में विधानसभा चुनाव की रंगत बढ़ने लगी है। जहां-जहां टिकट फाइनल को चुके है, वहां चुनावी प्रचार-प्रसार भी शुरू हो गया है। इस बार नेताओं ने ज्यादा से ज्यादा मतदाताओं तक पहुंच बनाने के लिए सोशल मीडिया पर भी खूब फोकस कर रखा है। जबकि उनके सोशल मीडिया पर किए जा रहे प्रचार प्रसार पर निर्वाचन विभाग नजर गड़ाए बैठा है। उनके प्रत्येक पोस्ट का हिसाब का लेखा जोखा तैयार किया जा रहा है। जो प्रत्याशी के खाते में उसका खर्च जोड़ा जाएगा। ऐसे में उम्मीदवारों को सोशल मीडिया पर प्रचार प्रसार करना भारी पड़ सकता है।
सभी उम्मीदवार कर रहे हैं प्रचार
उम्मीदवारों की ओर से सोशल मीडिया को प्रचार के मुख्य साधनों में शामिल कर लिया है। जिले की सभी चारों सीटों में उम्मीदवारों की ओर से सोशल मीडिया पर प्रचार में कोई कमी नहीं छोड़ी जा रही है। उम्मीदवार भी अपने फेसबुक और वाट्सअप नंबर से अपने प्रचार में जुटे है। उम्मीदवारों की पहली नजर युवाओं पर है। नेता का भविष्य युवाओं के हाथ में है। ऐसे में उम्मीदवार भली भांति जानता है कि यदि युवाओं तक पहुंच बनानी है तो सोशल मीडिया पर अपडेट रहना होगा। इसलिए संबंधित उम्मीदवार के समर्थक नेता के दौरे, सेवा कार्य और भाषण से जुड़े वीडियो-फोटो को अपलोड कर रहे है। जो आचार संहिता का उल्लंघन है।
फैक्ट फाइल
जिले की चारों विधानसभा क्षेत्र में कुल मतदान केन्द्र- 957
जिले में कुल 10 लाख 12 हजार 805 मतदाता है।
पुरूष मतदाताओं की संख्या- 5 लाख 40 हजार 901
महिला मतदाताओं की संख्या- 4 लाख 71 हजार 904
युवा नव मतदाताओं की संख्या- 43 हजार 724
वर्ष 2018 में विधानसभा चुनाव में मतदान प्रतिशत रहा- 68.33
इनका कहना है
राजस्थान विधानसभा चुनावों में सोशल मीडिया पर प्रचार प्रसार करना आचार संहिता के उल्लघंन में आता है। इसके लिए अलग से सेल बनी हुई है। सोशल मीडिया पर पोस्ट डालने व अपलोड करने का खर्चा प्रत्याशी के खाते में जोड़ा जाएगा।-अनिल चौधरी, एसडीएम सवाईमाधोपुर।
Published on:
06 Nov 2023 02:54 pm
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