अवैध खनन और ओवरलोड डंपरों की भारी आवाजाही से परेशान होकर सीहोर जिले के नर्मदा किनारे के ग्राम जांजना, मठागांव, बाबरी, डिमावर के ग्रामीण शनिवार को रेहटी तहसील कार्यालय और थाने पहुंचे। जहां पर एसडीएम के नाम तहसीलदार को ज्ञापन सौंपकर रेत माफियाओं पर कार्रवाई करने की मांग की है।
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ग्रामीणों का कहना है कि सीहोर जिले के रेत माफिया बीच नर्मदा नदीं की धार में पाइप डालकर आधा किमी रोड बना रहे। जो जांजना टापू से रेत की चोरी की कोशिशें कर रहे। गांव में से दर्जनों डंपर रोज गुजरने से हादसे हो रहे हैं। ग्रामीणों का ये भी कहना है कि अवैध खनन व डंपरों को निकालने से रोकने पर रेत माफिया व उनके हथियारबंद लोग धमका रहे। समय रहते कार्रवाई नहीं हुई तो ग्रामीणों का प्रतिनिधिमंडल सीधे सीएम से मिलकर कार्रवाई की मांग करेगा।
जिला खनिज अधिकारी होशंगाबाद शशांक शुक्ला, ने कहा कि बाबरी घाट के पास नर्मदा नदी में रेत के टापू पर जाने का रास्ता सीहोर जिले की तरफ से अवैध मार्ग बन रहा है, जिससे उत्खनन करने की संभावना है। इस बारे में सीहोर जिला खनिज अधिकारी को पत्र भेजा है। जल्द संयुक्त टीम बनाकर अवैध उत्खनन करने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।
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पोकलेन से रास्ता बना, निकाल रहे रेत
ग्रामीणों ने अधिकारियों को बताया कि होशगांबाद व सीहोर जिले के बीच नर्मदा नदी में बने जांजना टापू से अवैध कारोबारी कश्तियों से अवैध रेत परिवहन कर रहे हैं। विगत एक माह से जाजना टापू पर पहुंचने के लिए नर्मदा नदी की धार को रोककर आधा किमी से ज्यादा लंबा रास्ता बना लिया गया है। बीच नर्मदा नदी में 100 से अधिक पाइप डालकर पुल का निर्माण किया जा रहा। नाव से जाजना टापू पर पोकलेन उतारी जाती है। जो दूसरे छोर से रास्ता तैयार कर रही है। नर्मदा नदी के बीच जो टापू है, उसका आधे से अधिक भाग होशंगाबाद जिले में आता है। जहां भारी मात्रा में रेत के अवैध खनन व चोरी के लिए कारोबारी जुटे हुए हैं।