
Indian Immigrants : पंजाब के पूर्व स्वास्थ्य मंत्री बलबीर सिंह सिद्धू ने अमेरिका द्वारा निवार्सित भारतीय युवाओं को हथकड़ियों और बेड़ियों में जकड़कर भेजने की कड़ी निंदा की है। उन्होंने इसे मानवाधिकारों का घोर उल्लंघन करार देते हुये कहा कि यह घटना मोदी सरकार की विदेश नीति की असफलता को पूरी तरह उजागर करती है। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की इस मुद्दे पर चुप्पी पर सवाल उठाते हुए कहा कि यह दर्शाता है कि वे अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के सामने बेबस हो चुके हैं, जिन्हें वह कभी अपना ‘निजी मित्र’ कहकर गर्व महसूस करते थे। उन्होंने यह भी कहा कि कोलंबिया जैसे छोटे-छोटे देश भी अपने नागरिकों के सम्मान की रक्षा के लिये अमेरिका के खिलाफ खड़े हुये और अमेरिकी सैन्य विमानों को उतरने से मना कर दिया। इसके बजाय, उन्होंने खुद विमान भेजकर अपने युवाओं को सम्मानपूर्वक वापस लाने का कदम उठाया। लेकिन इसके विपरीत, मोदी सरकार ने भारतीय नागरिकों की वापसी के लिए अमृतसर हवाई अड्डे को चुनकर जानबूझकर पंजाब को बदनाम करने की साजिश रची है।
सिद्धू ने कहा कि सिख युवाओं की पगड़ी उतरवाकर उन्हें नंगे सिर वापस भेजना न केवल मानवाधिकारों का उल्लंघन है, बल्कि धार्मिक आस्था का भी अपमान है, जिससे सिख समाज आहत हुआ है। उन्होंने पंजाब सरकार से तुरंत केंद्र सरकार के खिलाफ कड़ा विरोध दर्ज कराने की मांग की ताकि पंजाब को और अधिक बदनाम होने से बचाया जा सके। उन्होंने कहा कि सरकार को जबरन वापस भेजे गये युवाओं के पुनर्वास की दिशा में प्रयास करने चाहिये ताकि वे सम्मानजनक जीवन जी सकें।
आम आदमी पार्टी (आप) सरकार पर निशाना साधते हुये सिद्धू ने कहा कि ‘आप’ के सत्ता में आने के बाद से ही ट्रैवल एजेंटों द्वारा भोले-भाले युवाओं को गलत तरीकों से विदेश भेजने का धंधा बड़े स्तर पर शुरू हो गया था। उन्होंने आरोप लगाया कि इस अवैध धंधे में आम आदमी पार्टी के कई नेता और कुछ पसंदीदा अधिकारी भी शामिल हैं। उन्होंने कहा कि यह घटनायें आप के उस झूठे वादे को भी उजागर कर रही हैं, जिसमें कहा गया था कि वे पंजाब के युवाओं को नौकरियां देंगे और विदेशों में गये युवाओं को वापस लायेंगे।
Published on:
18 Feb 2025 12:42 am
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