
शिव पार्वती विवाह प्रसंग का वर्णन
टीकमगढ़. जतारा नगर में आयोजित श्री रामचरितमानस सम्मेलन में 53वां मानस प्रवचन संपन्न हुआ। जिसमें बुंदेलखंड के प्रख्यात कथा वाचक पंडित विपिन बिहारी ने रामायण और श्रीकृष्ण लीला का वर्णन किया। प्रवचन के दौरान महाराज ने समाज, धर्म और वर्तमान परिस्थितियों पर भी गंभीर चिंता व्यक्त की।
कथा के बीच उन्होंने देश के किसानों की स्थिति पर सवाल उठाते हुए कहा कि अन्नदाता कहे जाने वाले किसान आज सबसे ज्यादा परेशान है। उनकी मक्का12 किलो बिक रही है। जिसमें पानी की एक लीटर की बोतल भी नहीं आ रही जो 20 की है। यह साफ संकेत है कि किसानों को उनकी फ सल का सही मूल्य नहीं मिल पा रहा।
पंडित विपिन बिहारी ने कहा कि वर्तमान समय में माता पिता को बच्चों को शिक्षा के साथ अच्छे संस्कार देना अत्यंत आवश्यक है। उन्होंने मातृशक्ति का उल्लेख करते हुए कहा कि बेटियां दो परिवारों की जिम्मेदारी निभाती है। इसलिए उन्हें सर्वोत्तम शिक्षा और संस्कार मिलना चाहिए।
प्रवचन में उन्होंने कहा कि समाज में बढ़ती घटनाएं चिंता का विषय है। लोगों को धर्म के मार्ग पर चलते हुए सनातन परंपराओं को जीवित रखना चाहिए। उन्होंने कहा कि सनातन धर्म का ध्वज कभी नीचे नहीं होना चाहिए। हमारी परंपराएं हमें पहचान देती है और इन्हें आने वाली पीढ़ी तक पहुंचाना हमारा कर्तव्य है। इसके साथ ही गऊ माता की महिमा का वर्णन किया।
कथा में पंडित विपिन बिहारी ने भगवान शिव और माता पार्वती के विवाह प्रसंग का वर्णन किया। सती के पुनर्जन्म के रूप में पार्वती ने शिव को पाने के लिए घोर तप किया। देवताओं के आग्रह पर कामदेव ने शिव पर कामबाण चलाया। जिससे शिव क्रोधित होकर उन्हें भस्म कर देते है।
Published on:
12 Dec 2025 07:35 pm
बड़ी खबरें
View Allटीकमगढ़
मध्य प्रदेश न्यूज़
ट्रेंडिंग
