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Rajasthan Assembly Election 2023: सियासत का जंक्शन… नेता वोट लेर परा ग्या, पाणी पूरो नीं मिले

मेवाड़ की भूमि पर उदयपुर जिले के मावली जंक्शन व वल्लभनगर क्षेत्र का अपना अलग ही वर्चस्व है। दोनों जगहों पर मुख्यालय तो विधानसभा क्षेत्र के हैं, लेकिन यहां सरकार ग्राम पंचायतों की चल रही है। मुख्यमंत्री ने दोनों कस्बों में नगरपालिका बनाने की घोषणा की है।

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कानाराम मुण्डियार
उदयपुर. मेवाड़ की भूमि पर उदयपुर जिले के मावली जंक्शन व वल्लभनगर क्षेत्र का अपना अलग ही वर्चस्व है। दोनों जगहों पर मुख्यालय तो विधानसभा क्षेत्र के हैं, लेकिन यहां सरकार ग्राम पंचायतों की चल रही है। मुख्यमंत्री ने दोनों कस्बों में नगरपालिका बनाने की घोषणा की है। दर्जा बढऩे से दोनों कस्बों के लोग खुश दिखाई दे रहे हैं। दोनों क्षेत्रों की थाह लेने के लिए मैं भीलवाड़ा से रवाना होकर 137 किलोमीटर दूर वाया चित्तौडगढ़़-उदयपुर हाईवे से पहले वल्लभनगर और इसके बाद मावली पहुंचा। हरे-भरे पेड़ों से सुंदर दिखाई दे रहे खेतों के बीच गांवों की सडक़ें अच्छी बनी हुई है।

उदयपुर जिले की आठ सीट में से उदयपुर शहर, मावली व वल्लभनगर ही ऐसे क्षेत्र हैं, जो आरक्षित नहीं है। तीनों क्षेत्र सियासत के जंक्शन से कम नहीं है। वैसे तत्कालीन मेवाड़ राज्य के समय से अब तक उदयपुर में रेलवे का एकमात्र जंक्शन मावली ही है, जो रेलमार्ग के जरिए मेवाड़ को मारवाड़ से कनेक्ट कर रहा है। मावली क्षेत्र में ही उदयपुर का महाराणा प्रताप अंतरराष्ट्रीय हवाईअड्डा डबोक है।

चित्तौडगढ़़-उदयपुर हाईवे स्थित भटेवर कस्बे से होते हुए वल्लभनगर पहुंचा तो ऊंठाला माताजी (शीतला माता) के प्राचीन मंदिर के पास बस स्टैंड तालाब की पाल पर कई लोग बैठे थे। यहां बातचीत शुरू की तो फिरोज खान ने बेरोजगारी व आवागमन के साधनों की परेशानी बताई। बोले, लोग निजी बसों में जान-जोखिम में डालने के लिए मजबूर हैं। उदयपुर के लिए रोडवेज की बस नहीं चलती। अजीज बोले, वल्लभनगर का तो केवल नाम है। ज्यादा विकास तो वल्लभनगर से बाहर भींडर व कानौड, कुराबड़ में हो रहा है। पहले पंचायत से कुछ काम नहीं हो पा रहा था, कुछ समय पहले नगरपालिका बनाई गई है, राहत कब मिलेगी पता नहीं।
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सरकार की तरफ से कोई कमी नहीं, स्थानीय नेता वल्लभनगर का नाम डुबो रहे हैं। बाजार में झमकलाल टेलर बोले, सरकार की इलाज योजना अच्छी है पर अस्पताल में डॉक्टर नहीं मिलते। डांगियों के चौराहे पर भंवरीबाई ने कहा, नेता वोट लेर परा ग्या, पाणी पूरो नीं मिले। वल्लभ नगर के रेलवे स्टेशन के बाहर थड़ी पर बैठे लोगों ने कहा कि यहां मावली से बड़ी सादड़ी के बीच चलने वाली एकमात्र ट्रेन ही स्टेशन पर आती है।

वल्लभनगर होते हुए मावली बाइपास चौराहे पहुंचा। पुराना बस स्टैंड स्थित ज्वलैर्स की शॉप पर बैठे रिटायर्ड शिक्षक शंकरलाल जीणावत बोले, मुख्यमंत्री ने मावली में नगरपालिका, उप जिला अस्पताल, कॉलेज खोलने की घोषणा कर दी। इसलिए पूरा मावली खुश है। बागोलिया बांध को भरने की तैयारी है। रेलवे स्टेशन मार्ग पर मिले गौरव गोखरू बोले, हर चुनाव में बागोलिया बांध भरने का वादा होता है, लेकिन चुनाव बाद इसे भूल जाते हैं। मावली कस्बे सहित कई गांव पेयजल संकट से जूझ रहे हैं। टेलर का काम कर रहे अब्दुल गफ्फार ने कहा कि मावली में बेरोजगारी बड़ी परेशानी है।
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यहां से मैं मावली क्षेत्र के फतहनगर रवाना हुआ। हाईवे पर लदानी के पास तिल्लम संघ का प्रोजेक्ट लगा है। इसलिए यहां तिलहन पर अच्छा व्यापार हो रहा है। मेन चौराहे पर साइकिल की दुकान पर कमलजीतसिंह बोले, पट्टों का काम न होने से लोग परेशान हैं। चाय की थड़ी पर रोशनलाल सोनी ने कहा कि सरकार की चिरंजीवी योजना व बिजली बिल में राहत से लोग खुश है। कस्बे के अस्पताल में चिकित्सक व स्वास्थ्य सेवा को बढ़ाया जाना चाहिए।

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