
उदयपुर से अहमदाबाद ब्रॉडगेज लाइन पर इन दिनों इलेक्ट्रीफिकेशन का काम तेजी से चल रहा है। डूंगरपुर से हिम्मतनगर तक करीब 100 किलोमीटर की लाइन का काम पूरा किया जाना है। ऐसे में यहां कर्मचारी दिन-रात काम कर रहे हैं। वर्तमान करीब 80 प्रतिशत काम पूरा हो चुका है। माना जा रहा है कि यह काम 15 जून तक पूरा हो जाएगा।
उदयपुर से डूंगरपुर तक इलेक्ट्रीफिकेशन का काम हो चुका है। इस रूट पर इलेक्ट्रिक इंजन से रेलगाड़ियां भी दौड़ने लगी है। इसके आगे उत्तर-पश्चिम रेलवे के अधीन डूंगरपर से हिम्मतनगर तक इलेक्ट्रीफिकेशन का काम तेजी से किया जा रहा है। वर्तमान में पूरे रूट पर पिलर लगा दिए गए हैं।
वीरावाड़ा तक तार भी खींच दिए गए हैं। तार खींचने का काम दिन और रात किया जा रहा हैं। कुछ स्थान ऐसे हैं, जिन पर तकनीकी परेशानी आ रही थी। वहां बीच-बीच में छोटा-छोटा काम बाकि है। इस काम को वरिष्ठ इंजीनियरों की देखरेख में पूरा किया जा रहा है।
रेलवे सूत्रों के अनुसार जिस तेजी से काम चल रहा है उससे जल्द ही दिल्ली से रेलवे के विद्युतीकरण से संबंधित उच्चाधिकारियों का निरीक्षण होने की संभावना है। इस निरीक्षण के बाद लाइन की जांच होगी। ऐसे में संभावना यह भी जताई जा रही है कि 15 जून तक इस लाइन पर इलेक्ट्रिक इंजन चला दिया जाए।
पश्चिमी रेलवे द्वारा अहमदाबाद से हिम्मतनगर के बीच भी इलेक्ट्रीफिकेशन का काम इसी गति से किया जा रहा है असारवा से हिम्मतनगर तक पिलर खड़े हो चुके हैं। अधिकतर जगह पर वायरिंग हो चुकी । यहां टीएसएस (ट्रैक्शन सब स्टेशन) और एसएसपी (सब स्वीच पोस्ट) का काम अंतिम चरण में चल रहा है।
इलेक्ट्रीफिकेशन के बाद लाइन में निर्बाध रूप से सप्लाई देने के लिए टीएसएस (ट्रैक्शन सब स्टेशन) और एसएसपी (सब स्वीच पोस्ट) बनाए गए हैं। इनमें जरूरत पड़ने पर मावली, उमरड़ा टीएसएस डूंगरपुर से लेकर चित्तौड़गढ़ तक सप्लाई दे सकते हैं। डूंगरपुर में टीएसएस का काम अंतिम चरण में चल रहा है। वीरावाड़ा में 30 प्रतिशत काम हुआ है। इसी प्रकार उदयपुर से डूंगरपुर तक तीन एसएसपी तैयार है। इसके आगे हिम्मतनगर तक तीन एसएसपी का सीविल वर्क पूरा हो चुका है। यहां मशीनों का इंस्टालेशन किया जा रहा है।
Published on:
02 Jun 2024 01:48 pm
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