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मार्तंड शाही मर्डर केस की सुनवाई अब फास्ट ट्रैक कोर्ट में

एनटीपीसी के सेवानिवृत्त अधिकारी मार्तंड शाही हत्याकांड की सुनवाई अब फ़ास्ट ट्रैक कोर्ट में होगी। बता दें कि गत अगस्त में शाही की संपत्ति पर कब्जा करने की नीयत से हत्या कर दी गई थी। ये हत्या वाराणसी से कानपुर जाते वक्त नौबस्ता इलाके में की गई थी। अब इस चर्चित हत्याकांड को जल्द से जल्द निबटाने के लिए पुलिस कमिश्नर की पहल पर फास्ट ट्रैक कोर्ट द्वितीय में सुनवाई होगी।

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एनटीपीसी के सेवानिवृत्त अधिकारी मार्तंड शाही (फाइल फोट)

एनटीपीसी के सेवानिवृत्त अधिकारी मार्तंड शाही (फाइल फोट)

वाराणसी. नेशनल थर्मल पावर कॉपोरेशन लिमिटेड (एनटीपीसी) के सेवानिवृत्त अधिकारी मार्तंड शाही हत्याकांड की सुनवाई अब फ़ास्ट ट्रैक कोर्ट द्वितीय में होगी। बता दें कि गत अगस्त में वाराणसी से कानपुर जाते वक्त इनकी हत्या की गई थी। हालांकि हत्या को आत्महत्या का रूप देने के लिए शव के पास सुसाइड नोट भी रख दिया गया था।

बता दें कि एनटीपीसी के सेवानिवृत्त अधिकारी मार्तंड वाराणसी के वरुणापार जोन के कैंट इलाका स्थित बुद्ध विहार कॉलोनी में अकेले ही रहते थे। उनका बेटा अमित शाही गाजियाबाद में रहता है। शाही के अकेले रहने के कारण उनकी करोड़ों रुपए की संपत्ति हड़पने के लिए ककरमत्ता क्षेत्र के जानकी नगर स्थित शिव शक्ति अपार्टमेंट में रहने वाले राजेश कुमार चौहान और उसकी पत्नी कंचन चौहान ने उनसे मेल मिलाप बढ़ाया। शाही सात अगस्त 2021 को कानपुर में रहने वाली अपनी बेटी और दामाद से मिलने जा रहे थे। उनके साथ राजेश व कंचन तथा उनके 6 अन्य करीबी भी वाराणसी से निकले। कानपुर में उनको नशीला पदार्थ खिलाने के बाद उनके सिर पर रॉड से वार कर आठों आरोपियों ने उनकी हत्या कर दी। इसके बाद उनकी जेब में सुसाइड नोट डालकर हत्या को आत्महत्या का रूप देकर सभी ने शव को कानपुर के नौबस्ता क्षेत्र में फेंक दिया था। अगली सुबह यानी आठ अगस्त को शाही के दामाद को कानपुर की पुलिस से सूचना मिली की उनके ससुर का शव मिला है।

चर्चित हत्याकांड की सुनवाई फास्ट ट्रैक कोर्ट में ट्रांसफर होने की जानकारी मिलते ही पुलिस कमिश्नर ने प्रॉसिक्यूशन ऑफिसर्स की बैठक बुलाई है। पुलिस द्वारा अब तक जुटाए गए साक्ष्यों की समीक्षा कर उनके बारे में प्रॉसिक्यूशन को कमिश्नर ब्रीफ करेंगे। इसके साथ ही गवाही के बारे में गवाहों को भी पुलिस द्वारा ब्रीफ किया जाएगा।

पुलिस कमिश्नर ए सतीश गणेश ने बताया कि अमित शाही की तहरीर पर कैंट थाने में मुकदमा दर्ज किया गया था। केस के मास्टरमाइंड राजेश चौहान और उसकी पत्नी कंचन चौहान सहित आठ आरोपियों को गिरफ्तार कर उनके खिलाफ गैंगस्टर एक्ट के तहत भी कार्रवाई की जा चुकी है। आठों आरोपी फिलहाल वाराणसी जिला जेल में बंद हैं। उनके खिलाफ रिकॉर्ड समय में अदालत में चार्जशीट दाखिल की जा चुकी है। अभियोजन की प्रभावी पैरवी के कारण आठों आरोपियों की जमानत अर्जी सेशन कोर्ट से खारिज हो चुकी है। अब इस मुकदमे का ट्रॉयल फास्ट ट्रैक कोर्ट में होगा तो जल्द से जल्द आरोपियों को कड़ी से कड़ी सजा सुनाई जाएगी।