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IIT BHU 7वां दीक्षांत समारोह- वेटनरी विभाग में कार्यरत पिता के मेधावी छात्र रामपाल को मिलेगा पहला प्रेसिडेंट गोल्ड मेडल

बलिया जिले के नगरा के रहने वाले हैं रामपाल, आईआईटी बीएचयू के सातवें दीक्षांत समारोह में पहली बार दिया जा रहा है प्रेसिडेंट गोल्ड मेडल।

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वाराणसी. आईआईटी बीएचयू के इलेक्ट्रानिक्स इंजीनियरिंग से बीटेक करने वाले छात्र रामपाल को सातवें दीक्षांत समारोह में प्रेसिडेंट गोल्ड मेडल से नवाजा जाएगा। यह पहला अवसर है जब आईआईटी बीएचयू ने प्रेसिडेंट गोल्ड मेडल देने का फैसला किया है। रामपाल बलिया जिले के नगरा क्षेत्र के लहसनी गांव के रहने वाले हैं। उनके पिता वेटनरी विभाग में कर्मचारी हैं जबकि माता गृहणी हैं। वही संस्थान के दूसरा डायरेक्टर गोल्डमेडल मुंबई के अंधेरी ईस्ट निवासी बीटेक करने वाले आमोद हेगड़े को मिलेगा। बता दें कि निदेशक प्रो पीके जैन ने पिछले साल यानी छठवें दीक्षांत से ही डायरेक्टर गोल्ड मेडल देने की शुरूआत की थी।

बता दें कि आईआईटी बीएचयू से बीटेक करने वाले रामपाल फिलहाल संचार एवं सूचना प्रौद्योगिकी मंत्रालय के सी डॉट (सेंटर फॉर डेवलपमेंट ऑफ टेलीमेडिक्स) में रिस्च इंजीनियर के पद पर कार्यरत हैं। निदेशक गोल्ड मेडल के लिए चुने गए आमोद हेगड़े हार्ड वेयर इंजीनियर हैं। सीए पिता लक्ष्मीनारायण के बेटे हैं आमोद।

निदेशक प्रो जैन ने गुरुवार को बताया कि प्रेसिडेट गोल्ड मेडल इस साल से शुरू किया जा रहा है। यह पूरी तरह से एकेडमिक गतिविधियों के लिए है। कहा कि पिछले साल जिस डायरेक्टर गोल्ड मेडल की शुरूआत की गई थी वह छात्र के ओवरऑल परफारमेंस के लिए था। बताया कि प्रेसिडेंट गोल्ड मेडल के लिए चुने गए रामपाल ने इस बार 9.8 सीपीआई अर्जित किया है। उनका एकेडमिक कैरियर सर्वोत्तम है। हालांकि स्पोर्ट्स और सोशल आउटगोइंग में भी उनका प्रदर्शन बेहतरीन है। निदेशक ने बताया कि इलेक्ट्रानिक इंजीनियरिंग के ही दूसरे छात्र आमोद हेगड़े का सीपीआई 9.39 है। लेकिन वह ऑलराउंडर छात्र रहे। तीसरे साल में उन्होंने आईआईटी बीएचयू के वॉलीबॉल टीम का नेतृत्व भी किया। ऐसे में उन्हें डायरेक्टर गोल्ड मेडल के लिए चुना गया।

निदेशक ने बताया कि 29 दिसंबर को शनिवार की सुबह 11 बजे से स्वतंत्रता भवन में यह सातवां दीक्षांत समारोह शुरू होगा। इसमें कुल 1191 छात्र-छात्राओं को उपाधि दी जाएगी। सचिव रक्षा अनुसंधान एवं विकास विभाग के चेयरमैन और डीआरडीओ के अध्यक्ष डॉ जी सतीश रेड्डी मुख्य अतिथि होंगे। उन्होने बताया कि आईडीडी व आईएमडी व बीटेक, बीफार्म में संस्थान के छात्रों को उपाधि प्रदान की जाएगी। विभिन्न विषयों में अपनी मेधा योग्यता प्रदर्षित करने के लिए वर्ष 2018 में 38 छात्रों को आईआईटी बीएचयू तथा 36 छात्रों को इण्डोमेन्ट स्वर्ण पदक से विभूषित किया जाएगा। इसी क्रम में 02 छात्रों को इण्डोमेन्ट रजत पदक से भी विभूषित किया जायेगा। बताया कि दीक्षांत समारोह का पूर्वाभ्यास 28 दिसंबर को दोपहर बाद दो से 04.00 बजे से काशी हिंदू विश्वविद्यालय के स्वतन्त्रता भवन में आयोजित है।

उन्होंने बताया कि कुल 1191 में से 655 छात्रों को बीटेक, बीफार्मा, 201 आईडीडी, 215 एमटेक व एमफार्मा तथा 120 शोध छात्रों को विभिन्न उपाधियों से नवाजा जाएगा। विभिन्न पाठ्यक्रमों में सर्वोच्च अंक हासिल करने वाले कुल 50 स्नातकों को विभिन्न श्रेणियों में 79 स्वर्ण पदक और दो रजत पदक दिए जाएंगे। इसमें बीटेक व बीफार्मा के 17 छात्रों को 43, आई़डीडी व आईएमडी के 14 और एमटेक व एमफार्मा के 17 छात्रों के बीच 19 स्वर्ण पदक दिए जाएंगे। दो छात्रों को रजत पदक मिलेगा। 50 पदक विजेताओं में 16 छात्राओं ने स्वर्ण पदक जबकि एक छात्रा को रजत पदक मिलेगा।

बताया कि इस बार खास उपलब्धि यह है कि संस्थान 120 शोध छात्रों को मेडल व उपाधि देने जा रहा है। यह संस्थान के लिए बड़ी उपलब्धि है। पिछली बार यानी छठवें दीक्षांत समारोप में 81 शोध छात्रों को डिग्री दी गई थी। उन्होंने बताया कि पिछले दो साल मे शोध कार्यों को तरजीह दी गई है। यह क्रम जारी रहेगा। हम अन्य आईआईटी की तुलना में आईआईटी बीएचयू को और ऊपर ले जाने के प्रयास में हैं ताकि देश व दुनिया में नाम हो सके। बताया कि जिन शोध छात्रो को पीएचडी की उपाधि दी जाएगी उनके शोध प्रबंध अंतर्राष्ट्रीय स्तर पर प्रकाशित हो चुके हैं।

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