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ग्रामीणों ने किया कपसेठी थाने का घेराव, पुलिस पर लगाया कबाड़ व्यवसायी को तीन दिन लॉकअप में बंद कर पीटने का आरोप

हालत बिगडऩे पर निजी अस्पताल में कराया गया भर्ती, पुलिस पर पैसे लेने का भी आरोप

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Kapasethi Police

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वाराणसी. ग्रामीणों ने कबाड़ व्यवसायी को लॉकअपन में बंद कर तीन दिन पिटने का आरोप लगाते हुए शनिवार को कपसेठी थाने का घेराव कर दिया। आरोप है कि पुलिस ने चोरी के फर्जी आरोप में कबाड़ व्यवासी को घर से उठाया था और पिटाई से जब उसकी हालत बिगड़ गयी तो निजी अस्पताल में भर्ती कराया। ग्रामीणों के हंगामे की जानकारी मिलते ही सीओ बड़ागांव अर्जुन सिंह के साथ जिला प्रशासन के अन्य अधिकारी भी मौके पर पहुंच गये हैं। सीओ ने कहा कि मामले की जांच कर एसएसपी को रिपोर्ट भेजी जा रही है और जो भी दोषी मिलता है उसके खिलाफ नियमानुसार कार्रवाई की जायेगी। पीडि़त की पत्नी ऊषा देवी ने एसओ के खिलाफ कार्रवाई के लिए प्रार्थना पत्र भी दिया है।
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IMAGE CREDIT: Patrika

ऊषा देवी के प्रार्थना पत्र के अनुसार कपसेठी थाना क्षेत्र के लोहराड़ीह ग्राम निवासी उनके पति राजकुमार गुप्ता की बाजार में दुकान है। यहां पर वह कबाड़ का काम करते हैं। पत्नी का कहना है कि जब उनके पति घर पर सो रहे थे तो उस समय दो लोग पीतल का घड़ा लेकर पति की दुकान के सामने खड़े थे इसी बीच वहां पर पुलिस आ गयी थी और दोनों लोगों को पकड़ लिया था। आरोप है कि २७ अगस्त की देर रात कपसेठी पुलिस आयी और राजकुमार से पूछा उसकी दुकान कहा पर है जानकारी मिलने के बाद पुलिस राजकुमार को अपने साथ ले गयी। पत्नी के आरोप है कि कपसेठी पुलिस ने उसके पति को तीन दिन लॉकअप में बंद कर पिटाई की। आरोप है कि 50 हजार रुपये मिलने पर छोडऩे की बात कही। इसके बाद पुलिस को 15 हजार रुपये दिया गया। इसी बीच पुलिस की पिटाई से राजकुमार की हालत बिगडऩे लगी। पुलिस ने परिजनो को बुला कर राजकुमार को छोडऩे की बात कही। साथ ही यह भी कहा कि किसी से न कहे कि पुलिस ने उसे पीटा है इसके बाद पुलिस ही राजकुमार को भर्ती कराने के लिए कई अस्पताल लेकर गयी। ग्रामीणो का आरोप है कि उसकी गंभीर हालत को देखते हुए किसी अस्पताल ने भर्ती कराने से मना कर दिया। इसके बाद राजकुमार को एक ककरमत्ता स्थित एक अस्पताल में भर्ती कराया गया। जहां पर उसकी स्थिति गंभीर बनी हुई है। जबकि पुलिस का कहना है कि चोरी किये गये घड़ा कबाड़ व्यवासायी को चोरों ने बेचा था। पुलिस ने पिटाई से इंकार किया है।
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