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Video story; युवती के अंधे कत्ल की गुत्थी सुलझी, प्रेमी ने ही जंगल में कार चढ़ाकर ले ली थी जान

बलरामपुर पुलिस ने एक युवती के अंधे कत्ल की गुत्थी सुलझा ली है। मामले में पुलिस ने मृतका के प्रेमी को गिरफ्तार किया है। दरअसल आरोपी की शादी कहीं और तय हो गई थी और मृतका उस पर शादी नहीं करने का दबाव बना रही थी। बस इसी वजह से आरोपी ने योजनाबद्ध तरीके से कार चढ़ाकर उसकी हत्या कर दी। यही नहीं शुरूआती पूछताछ में आरोपी ने पूरे मामले को दुर्घटना बताते हुए पुलिस को भी गुमराह करने का प्रयास किया था। आरोपी ग्रामीण बैंक रामानुजगंज में कर्मचारी है।

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अंबिकापुर। बलरामपुर पुलिस ने एक युवती के अंधे कत्ल की गुत्थी सुलझा ली है। मामले में पुलिस ने मृतका के प्रेमी को गिरफ्तार किया है। दरअसल आरोपी की शादी कहीं और तय हो गई थी और मृतका उस पर शादी नहीं करने का दबाव बना रही थी। बस इसी वजह से आरोपी ने योजनाबद्ध तरीके से कार चढ़ाकर उसकी हत्या कर दी। यही नहीं शुरूआती पूछताछ में आरोपी ने पूरे मामले को दुर्घटना बताते हुए पुलिस को भी गुमराह करने का प्रयास किया था। आरोपी ग्रामीण बैंक रामानुजगंज में कर्मचारी है।
गौरतलब है कि १९ नवंबर २०२३ को अंवराझरिया जंगल में एनएच किनारे एक युवती का शव मिला था। इसकी पहचान पूजा देवांगन पिता हीराधन उम्र 23 वर्ष निवासी ग्राम सपना गांधीनगर जिला सरगुजा के रूप में हुई।

इस पूरे मामले की बारीकी से फॉरेंसिक जांच सहित पीएम रिपोर्ट की क्यूरी कराने व परिजनों से पूछताछ की गई। इसमें जानकारी मिली कि मृतका पूजा का ग्रामीण बैंक रामानुजगंज में कार्यरत अजीत पाठक पिता मृत्युंजय पाठक के प्रेम संबंध था। साथ ही यह भी जानकारी मिली कि २८ नवंबर २०२३ को आरोपी की शादी होने वाली थी और मृतका उसे शादी करने से मना कर रही थी। परिजनों ने उसी पर हत्या करने का शक जताया।

इस पर पुलिस ने शक के आधार पर अजीत पाठक को बुलाकर पूछताछ की तो उसने बताया कि वह घटना दिवस को बाइक से बलरामपुर आकर मृतका से मिला और उसे अंवराइरिया ले गया। यहां से वापस बलरामपुर लाते समय वह बाइक से गिर गई। काफी आगे जाने के बाद उसे ऐसा एहसास होने पर वापस जाकर देखा तो पूजा देवांगन गिरी पड़ी थी, वहां लोग खड़े थे, जिन्होंने उसकी मौत होने की बात कही। यह सुनकर वह मौके से भाग गया था।

फिर संदेही के कथन की तस्दीक करने जब पुलिस ने उसके घर के बगल का सीसीटीवी फुटेज चेक किया तो उसके झूठे बयान की पोल खुल गई। वह घटना समय के पूर्व अपनी कार क्रमांक सीजी १५ डीवी ६४९५ से निकलते व घटना के बाद उसी कार से वापस आते दिखा।

इस पर पुलिस ने उसे दोबारा कड़ाई से पूछताछ की तो उसने कार चढ़ाकर पूजा की हत्या करना स्वीकार लिया। इस पर पुलिस ने धारा ३०२, २०१ के तहत गिरफ्तार कर उसे जेल भेज दिया। कार्रवाई में निरीक्षक नरेन्द्र त्रिपाठी, एएसआई अश्विनी सिंह, प्रधान आरक्षक शीपक रंजन शर्मा, विवेकमणि तिवारी, आरक्षक सचिन, शिवशंकर, कृष्णा हालदार व सूरजदेव शामिल रहे।


किसी भी कीमत पर प्रेमी से अलग नहीं होना चाहती थी पूजा
पूछताछ में आरोपी अजीत पाठक ने बताया कि मृतका के साथ उसका प्रेम संबंध था। लेकिन इसी बीच उसकी शादी किसी और लडक़ी से तय हो गई। शादी २८ नवंबर को होनी थी, इसकी जानकारी मिलते ही मृतका उसे शादी करने से मना कर रही थी। वह उससे काफी प्रेम करती थी और किसी भी कीमत पर अलग नहीं होना चाहती थी। वह आरोपी के घर उसके साथ जाना चाहती थी। इधर आरोपी उससे पीछा छुड़ाना चाहता था, उसे लगा कि अगर वो जिंदा रही तो उसकी शादी नहीं हो पाएगी। इसी वजह से उसने पूजा की हत्या करने की योजना बनाकर घटना दिवस को उसे बलरामपुर बुलाया, फिर कार से वहां पहुंचा और उसे लेकर अंवराझरिया जंगल की तरफ आया। यहां दोनों के बीच काफी देर तक बातचीत हुई। इसी बीच उसने मौका पाकर पहले कार से पूजा को ठोकर मार दी, इससे वह गिर गई। इसके बाद उसने कार चढ़ाकर पूजा की जान ले ली। वारदात को अंजाम देने के बाद आरोपी ने साक्ष्य छिपाने के दृष्टिकोण से कार को औरंगाबाद ले जाकर सामने के हिस्से की मरम्मत भी कराई थी।

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