छतरपुर. अमृत 2.0 योजना के तहत शहर में 281 करोड़ की लागत से सीवर प्रोजेक्ट पिछड़ गया है। यह प्रोजेक्ट 2022 में शुरू होना था। इसी प्रोजेक्ट के साथ सागर केंट और नगर निगम सागर के प्रोजेक्ट भी स्वीकृत किए थे। इन दोनों निकायों के प्रोजेक्ट के डीपीआर पास होने के बाद उनके लिए बजट का आवंटन भी हो गया है, लेकिन छतरपुर नगर पालिका का सीवर प्रोजेक्ट लगातार पिछड़ता जा रहा है। डीपीआर तैयार होने का काम 6 माह के लिए पिछड़ गया है।
इस वित्तीय साल में प्रदेश सरकार द्वारा अमृत योजना 2.0 को स्वीकृति प्रदान करते हुए छतरपुर शहर के किशोर सागर, प्रताप सागर, ग्वाल मंगरा और संकट मोचन तालाब को गंदगी से निजात दिलाने सीवर लाइन बिछाने के लिए 281 करोड़ की राशि स्वीकृत की है। जिसके तहत शहर में 376 किमी सीवर लाइन बिछाकर तालाबों को गंदगी से मुक्त किया जाना है। लेकिन इस डीपीआर को तैयार करने वाली गुजरात की कंपनी अब तक सिर्फ शहर का सर्वे कर पाई है।
3 सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट और 3 पंपिंग स्टेशन का होना है निर्माण
शहर के प्रताप सागर, ग्वाल मंगरा और संकट मोचन तालाब में एक-एक सीवरेज ट्रीटमेंट प्लांट और एक-एक पंपिंग स्टेशन स्थापित कर सौंदर्यीकरण किया जाना है। जिसमें किशोर सागर तालाब, रानी तलैया, विंध्यवासिनी तलैया और सांतरी तलैया को जोड़ते हुए 376 किमी की सीवर लाइन बिछाई जाएगी। ताकि शहर के घरों से निकालने वाले गंदे पानी से इन तालाबों को सुरक्षित किया जा सके।