21 दिसंबर 2025,

रविवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

जयपुर

मंच पर पहली बार किसी कलाकार ने एक साथ बजाए 52 राग , कायम किया अनूठा सांगीतिक कीर्तिमान

जयपुर। जयपुर के छह दशक से भी अधिक पुराने संगीत कला निकेतन की ओर से मंगलवार को आयोजित 'सनातन सात्विक संवाद' कार्यक्रम उस समय परवान चढ़ गया जब ग्रेमी अवॉर्ड विजेता पद्मभूषण पंडित विश्व मोहन भट्ट ने अपने पुत्र और शिष्य तंत्री सम्राट पंडित सलिल भट्ट के साथ मिलकर भारतीय शास्त्रीय संगीत के 52 अनूठे रागों की माला पिरोई।

Google source verification

जयपुर

image

Rakhi Hajela

Jan 17, 2023

जयपुर। जयपुर के छह दशक से भी अधिक पुराने संगीत कला निकेतन की ओर से मंगलवार को आयोजित ‘सनातन सात्विक संवाद’ कार्यक्रम उस समय परवान चढ़ गया जब ग्रेमी अवॉर्ड विजेता पद्मभूषण पंडित विश्व मोहन भट्ट ने अपने पुत्र और शिष्य तंत्री सम्राट पंडित सलिल भट्ट के साथ मिलकर भारतीय शास्त्रीय संगीत के 52 अनूठे रागों की माला पिरोई। संगीत की इस अनूठी महफिल में पंडित विश्व मोहन ने अपनी परिकल्पना और भारतीय शास्त्रीय संगीत के अनेक शास्त्रगत रागों को मिलाकर कुल 52 राग को एक के बाद एक क्रमवार बजाया। इस प्रस्तुति में सलिल ने सात्विक वीणा पर अपने गुरु का भरपूर साथ दिया। विश्व मोहन ने राग माला की ये सौगात सलिल को उनके 52वें जन्मदिन पर देकर अनूठा सांगीतिक आशीर्वाद दिया।

यह भी पढ़ें – अपना कम्यूनिकेशन, एक्सपोजर व विजिबिलिटी मजबूत रखें स्टार्टअप-अमित पुरोहित

विश्व मोहन ने बताया कि 52 रागों को क्रमवार बजाने का ये कार्यक्रम संगीत के किसी भी मंच पर पहली प्रस्तुति थी जो अपने आपमें एक रिकॉर्ड की तरह स्थापित हुई है। इससे पहले पंडित सलिल भट्ट ने खड़ताल वादक कुटला खान और तबला वादक पंडित हिमांशु महंत के साथ राग जोग, पहाड़ी धुन और राम भजन पायो जी मैंने रामरतन धन पायो बजाकर समारोह स्थल पर सुर, लय और ताल के साथ भक्ति का भी नजरा जीवंत किया।