रासायनिक हथियारों के खिलाफ है भारत पीएम ने गुरुवार को राष्ट्रपति पुतिन से कहा कि भारत रासायनिक हथियारों के खिलाफ है और इसके इस्तेमाल के पक्ष में भी हम नहीं हैं। अपनी बात को आगे बढ़ाते हुए पीएम ने कहा कि अगर ऐसा कोई मामला आता है तो उसका ‘रासायनिक हथियार संधि’ के प्रावधानों को अनुसार ही समाधान करना चाहिए। भारत-रूस संबंधों पर भी दोनों नेताओं ने काफी देर तक चर्चा की और एक-दूसरे के साथ हमेशा खड़े रहने की बात की।
अंतरराष्ट्रीय मंच पर साथ देने का वादा विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता रवीश कुमार ने बताया कि पीएम मोदी और राष्ट्रपति पुतिन की ये बात 11 अप्रैल को हुई थी। हालांकि बातचीत का पूरा ब्यौरा देने के लिए रवीश कुमार ने मना कर दिया। साथ ही सिर्फ इतना बताया कि दोनों देशों ने एक-दूसरे के हितों पर बात की और अंतरराष्ट्रीय मंच पर साथ देने का वादा भी किया।
सीरिया संकट पर भी हुई बात रवीश कुमार ने ये भी बताया कि दोनों देशों के बीच सीरिया संकट पर भी बात हुई, जिसकी विषय-सूची उनके पास नहीं हैं। खबर है कि ब्रिटेन मुद्दे को अगले हफ्ते लंदन में होने वाली राष्ट्रमंडल प्रमुखों की बैठक में भी उठाया जाएगा।
भारत का स्पष्ट कहना है कि वो किसी भी देश के द्वारा, किसी भी स्थिति में रासायनिक हथियारों के प्रयोग का विरोध करता है। क्योंकि इससे पूरी मानवता को खतरा है। गौरतलब है मार्च में रूस के राष्ट्रपति चुनाव में व्लादिमिर पुतिन ने भारी मतों के बहुमत से जीत हासिल की थी जिस पर पीएम मोदी ने उन्हें बधाई भी दी थी।