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Russia Ukraine Crisis: रूस ने यूक्रेन पर आक्रमण क्यों किया, 10 पॉइंट्स में समझें

रूस और यूक्रेन के बीच महीनों से चल रहा तनाव आखिरकार जंग में बदल गया। यूक्रेन पर कब्जे को बेताब रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने गुरुवार को युद्ध का ऐलान कर दिया। इसके बाद से लगातार यूक्रेन से धमाकों, चीख और दर्दनाक आवाजें सुनाई दे रही हैं। दुनियाभर की नजरें इस जंग पर टिकी हैं, लोगों जहन में सवाल भी हैं कि आखिर रूस ने यूक्रेन पर हमला क्यों किया ( why did russia invade ukraine )

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Why did Russia invade Ukraine conflict reasons in 10 points

Why did Russia invade Ukraine conflict reasons in 10 points

भारत समेत दुनियाभर की नजरें रूस और यूक्रेन में शुरू हुई जंग पर टिकी हैं। रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के ऐलान के बाद रूस की सेना ने यूक्रेन पर धावा बोल दिया। अब हालात ये हैं कि यूक्रेन की राजधानी कीव समेत कई बड़े शहरों में रूसी सेना का दखल बढ़ता जा रहा है। महीनों से दोनों के देशों के बीच तनाव चल रहा था, जिसका अंत गुरुवार को रूसी राष्ट्रपति के एलान-ए-जंग से हो गया। रूसी सेना लगातार यूक्रेन पर मिसाइलें दाग रही है। यूक्रेन के ओडेसा समेत कई बड़े शहरों में रूसी सेना के टैंक घूम रहे हैं जो इस बात का सबूत है कि किसी भी वक्त इन पर रूसी सेना कब्जा कर सकती है।


रूस और यूक्रेन के बीच शुरू हुई जंग पर भले ही दुनियाभर की नजरें, लेकिन बहुत कम लोग जानते हैं कि आखिर इन दोनों देशों के बीच तनाव किस बात को लेकर है। ही कर दिया। इन 10 पॉइंट्स में समझते हैं कि रूस ने यूक्रेन के बीच तनाव का कारण क्या है( ukraine russia conflict reason ) ?

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रूस ने यूक्रेन पर हमला क्यों किया ( why did russia invade ukraine )

1. रूस और यूक्रेन के बीच इस बार विवाद की जड़ NATO ( North Atlantic Triti Organisation ) को माना जाता है।

2. NATO की शुरुआत 1949 में हुई थी। इसमें यूरोप के कई देश शामिल हैं। यूक्रेन भी नाटो में शामिल होना चाहता है, जिससे रूस को हमेशा से परेशानी रही है।


3. रूस का मानना है कि अगर यूक्रेन नाटो में शामिल हुआ तो नाटो देशों के सैनिक और ठिकाने उसकी सीमा के पास आ जाएंगे। इससे उसके देश को खतरा है।

4. रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन का मानना है कि, यूक्रेन अब एक संप्रभु देश नहीं रह गया बल्कि वह पश्चिमी देशों की कठपुतली बन गया है।


5. यूक्रेन सोवियत गणराज्य का हिस्सा रहा है। यही वजह है कि यूक्रेन के रूस के साथ गहरे सामाजिक और सांस्कृतिक संबंध थे। ऐसे में यूक्रेन में व्यापक तौर पर रूसी भाषा का इस्तेमाल होता है। लेकिन 2014 में रूस के आक्रमण के बाद से दोनों देशों के संबंधों में खटास आ गई है। जो तनाव बाद अब जंग में तब्दील हो गई।

6. रूस पहले ही यूक्रेन से इस बात की पुष्टि करने को कहा था कि, वो नाटो की सदस्य नहीं लेगा और खुद को डिमिलिट्राइज करने के साथ एक तटस्थ राष्ट्र के तौर पर काम करेगा।


7. ये भी सही है कि सोवियत संघ के खुफिया तंत्र केजीबी में रहने वाले पुतिन कभी सोवियत संघ के विघटन को पूरी तरह स्वीकार नहीं कर पाए। यही वजह है कि शासन में आने के तुरंत बाद से ही पुतिन की प्राथमिकता रूस की पुरानी हैसियत दोबारा हासिल करने की रही है।

8. यूक्रेन पर हमले के पीछे रूस की वैश्विक राजनीतिक रणनीति भी है। दरअसल रूस पर पाबंदियां लगाकर अमरीका और उसके मित्र देश रूस के आर्थिक विकास में रोड़े अटकाते हैं। यूक्रेन पर कब्जा कर वो इन देशों को भी संदेश देना चाहता है।


9. सुरक्षा के मुद्दे पर पश्चिमी देशों रूस के हितों की परवाह नहीं करते और सोवियत संघ के टूटने के बाद बने देशों को अपने पक्ष में करके अमरीका रूस की घेराबंदी करना चाहता है। ऐसे में यूक्रेन तो बहाना है अमरीका रूस का असली निशाना है।

10. यूक्रेन में करीब 80 लाख रूसी मूल के लोग रहते हैं और यूक्रेन का नाटो और अमेरिका के प्रति झुकाव रूस को बर्दाश्त नहीं है। यही वजह है कि यूक्रेन में हमला कर पुतिन ने ये एक बार फिर साबित कर दिया है कि उसकी नीति में कोई बदलाव नहीं हुआ है।

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