12 दिसंबर 2025,

शुक्रवार

Patrika LogoSwitch to English
home_icon

मेरी खबर

icon

प्लस

video_icon

शॉर्ट्स

epaper_icon

ई-पेपर

रक्षाबंधन से पहले जिंदगी की जंग हारी शहर की बेटी की मरने के बाद भी जिंदा रहेंगीं आंखें

परिजनों ने गार्गी की मौत के बाद दान कीं आंखें, शहरवासियों ने दीं शुभकामनाएं

2 min read
Google source verification

आगरा

image

Abhishek Saxena

Aug 26, 2018

road accident

gargi

आगरा। रक्षाबंधन से एक दिन पहले सांस थमने के बाद भी आगरा की बेटी गार्गी शर्मा की आंखें जिंदा रहेंगीं। सेंट पैट्रिक्स की 11वीं क्लास की छात्रा गार्गी की मौत के बाद उनके पिता आनंद शर्मा ने गार्गी के नेत्र दान किए। गार्गी की आंखें फिर से इस दुनियां को देख सकेंगी। गार्गी की आंखें दो लोगों के जीवन में रोशनी भरेंगी।

रजिस्ट्रेशन फार्म भरने गई थी गार्गी तभी हुआ भयंकर एक्सीडेंट
मदिया कटरा निवासी आनंद शर्मा की बेटी गार्गी शर्मा सेंट पैट्रिक्स वजीरपुरा रोड में 11वीं की छात्रा थी। 16 अगस्त को वह स्कूल में रजिस्ट्रेशन फॉर्म भरने गई थी। सुबह फॉर्म भरने के बाद वह अपनी स्कूटी से स्कूल से बाहर निकली थी। उसके पीछे दूसरी स्कूटी से लॉयर्स कॉलोनी निवासी उसकी सहेली थी। स्कूल से बाहर निकलते ही पीछे से आ रहे नगर निगम के डंपर ने गार्गी की एक्टिवा को चपेट में ले लिया, इससे वह सड़क पर गिर गई, डंपर का पिछला पहिया गार्गी के बाएं पैर से होकर निकल गया। हादसे में गार्गी शर्मा का पैर सहित नीचे का हिस्सा बुरी तरह घायल हो गया। शनिवार को तीन बजे गार्गी ने आखिरी सांस ली।

मदिया कटरा से शवयात्रा में उमड़े शहरवासी
रात सात बजे गार्गी का शव मदिया कटरा स्थित आवास पर पहुंचा। यहां बड़ी संख्या में लोग और सेंट पैट्रिक्स स्कूल की शिक्षिकाएं, छात्राएं मौजूद थे। पुलिस फोर्स भी तैनात किया गया था। रात में ताजगंज स्थित विद्युत शवदाह ग्रह पर अंतिम संस्कार कर दिया गया।

मौत के बाद निगम की गाड़ियों के बीमे पर सवाल
छात्रा गार्गी शर्मा की असामायिक मृत्‍यु पर सिविल सोसायटी आगरा ने शोक व्‍यक्‍त करते हुए आगरा महानगर की सड़क यातायात व्‍यवस्‍था पर कड़ी प्रतिक्रिया व्‍यक्‍त की। सिविल सोसायटी के जनरल सैकेट्री अनिल शर्मा ने कहा हे कि वह जानना चाहते हैं कि गर्गी की मौत के कारण बने ट्रक का थर्ड पार्टी इंश्‍योरैंस का स्‍टेटस क्‍या है। नगरायुक्‍त, पार्षद डॉ. शिरोमणी सिंह को अलग अलग पत्र लिख कर कहा है कि मानवीय आधार पर इस मामले को देखा जाना चाहिए और असमय कालकलवित हुई छात्रा के परिवार को यथा संभव मुआवजा दिलवाया जाना चाहिए।