
garib nawaz urs 2019
अजमेर. ख्वाजा साहब के उर्स की रंगत धीरे-धीरे बढ़ रही है। शहर में जहां देखो वहां ख्वाजा साहब के दीवाने नजर आ रहे हैँ। 807 वें उर्स के रसूमात जारी हैं।
पिछले दिनों हिलाल कमेटी रजब के चांद को लेकर व्यस्त रही। कहीं से चांद की सूचना नहीं मिल पाई। इसके चलते उर्स की पहली महफिल 8 मार्च को शुरु हुई। इसमें परम्परानुसार दरगाह दीवान जैनुअल आबेदीन ने सदारत की। दीवान ने मध्यरात्रि को आस्ताना शरीफ में प्रवेश कर मजार शरीफ पर गुलाब जल और केवड़े से पहला गुस्ल भी दिया। इसके बाद महफिल नियमित रूप से जारी है।
रजब की दूसरी तारीख
रजब का चांद नहीं दिखाई देने पर शनिवार को उर्स की पहली तारीख पर कार्यक्रम हुए रविवार को रजब की दूसरी तारीख हुई। ख्वाजा साहब की मजार शरीफ पर गुस्ल की परम्परा छह रजब तक निरंतर चलेगी। महफिल खाने में महफिल ए समां छह रजब यानि कुल के दिन तक जारी रहेगी। देशभर से आए कव्वाल ख्वाजा साहब की शान में सूफियाना कलाम पेश कर रहे हैं।
गूंजे शादियाने
दरगाह परिसर में नगाड़े और शादियाने गूंज रहे हैं। बड़े पीर की पहाड़ी की परम्परानुसार तोप दागकर उर्स की शुरुआत का पैगाम दिया गय है। छह रजब तक ख्वाजा गरीब नवाज का उर्स चलेगा। छठी शरीफ की रस्म यानि छोटे कुल के दिन जायरीन केवड़े और गुलाब जल से दरगाह की धुलाई करेंगे। इसके बाद बड़े कुल की रस्म होगी।
जन्नती दरवाजे से निकलने की होड़
जन्नती दरवाजा खोला गया। दूरदराज से आए जायरीन में जन्नती दरवाजे से निकलने की होड़ रही। देर शाम तक जन्नती दरवाजा खुला रहा।
Published on:
10 Mar 2019 06:10 pm
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