
अंबिकापुर. Breaking News: मेडिकल कॉलेज अस्पताल में बुधवार की सुबह करीब साढ़े 11 बजे सर्जिकल वार्ड के बाहर दीवार में लगे जर्जर विद्युत केबल में शॉट सर्किट के कारण ब्लास्ट हो गया और चिंगारियां निकलने लगीं। इससे सर्जिकल वार्ड के तीनों यूनिट में धुआं भर जाने से मरीजों, उनके परिजन व स्टाफ नर्सों के बीच हडक़ंप मच गया। स्टाफ नर्स व ड्यूटी पर तैनाट गार्ड की सूझ-बूझ से तत्काल अग्निशमन सिलेंडर से आग बुझाई गई। धुएं के कारण मरीजों को सांस लेने में दिक्कत होने लगी तो स्टाफ नर्सों ने तत्परता से सभी को दूसरे वार्ड में शिफ्ट कराया। इससे एक बड़ा हादसा टल गया। वहीं इस घटना में मेडिकल कॉलेज अस्पताल प्रबंधन व सीजीएमएससी की लापरवाही सामने आई है। यहां शॉर्ट सर्किट की यह तीसरी घटना है। स्टाफ नर्स द्वारा प्रबंधन को कई बार अवगत कराया जा चुका है लेकिन ध्यान नहीं दिया गया।
मेडिकल कॉलेज अस्पताल के चारों तरफ विद्युत तार अव्यवस्थित रूप से लटके हुए हैं। इस कारण अस्पताल के भीतर कई बार शार्ट-सर्किट की घटना सामने आ चुकी है। इसके बावजूद अस्पताल प्रबंधन विद्युत तार को व्यवस्थित करने के प्रति गंभीर नहीं है। इसका खामियाजा बुधवार को भी भुगतना पड़ा। (Breaking News)
मेडिकल कॉलेज अस्पताल के सर्जिकल वार्ड के बाहर दीवार पर लगे विद्युत केबल में शार्ट-सर्किट (Fire due to short circuit) से 3-4 बार जोरदार धमाका हुआ और लाइट गुल हो गई। इस दौरान अस्पताल परिसर में अफरा तफरी मच गई। सर्जिकल वार्ड के मरीजों के बीच हडक़ंप मच गया। ड्यूटी कर रहे तीन स्टाफ नर्स, 2 चतुर्थ कर्मचारी व गार्ड द्वारा तत्काल अग्निशामक गैस से शार्ट-सर्किट में लगी आग को बुझाया गया।
इस दौरान सर्जिकल वार्ड के तीनों यूनिट में धुआं भर गया। इससे मरीजों को परेशानी होने लगी। स्टाफ नर्स व कर्मचारियों की मदद से तीनों यूनिट के मरीजों को तत्काल स्ट्रेचर व व्हीलचेयर से दूसरे वार्ड में शिफ्ट कराया गया।
मेडिकल कॉलेज अस्पताल में पुरूष सर्जिकल वार्ड के 3 यूनिट हैं। सभी में 40 से ज्यादा मरीज भर्ती थे। शार्ट सर्किट होने के कारण वार्ड में धुआं भर गया। उनके स्वास्थ्य को देखते हुए तत्काल दूसरे वार्ड में सुरक्षित शिफ्ट करा दिया गया है।
सर्जिकल वार्ड के बाहर एक सप्ताह के अंदर शार्ट-सर्किट की यह तीसरी घटना है। इससे पूर्व एक बार केवल तार को काट कर हटा दिया गया था। पूरे तार को बदला नहीं गया था। वहीं शार्ट सर्किट होने की जानकारी स्टाफ नर्स द्वारा अस्पताल प्रबंधन को कई बार दी जा चुकी है, लेकिन सीजीएमएससी का काम होने का हवाला देकर कोई ठोस पहल नहीं की गई।
मरीजों ने बताया कि आज सुबह से ही तार जलने का स्मेल आ रहे थे। ऐसे में स्टाफ नर्स द्वारा लाइट ऑफ करा दी गई थी। इसी बीच लगभगा 11.30 बजे अचानक 3-4 धमाकों के साथ शॉट सर्किट हुआ और अफरा-तफरी मच गई। स्टाफ नर्स का कहना था कि आज भी प्रबंधन को तार जलने की सूचना दी गई थी, लेकिन उनकी ओर से कोई पहल नहीं की गई।
Updated on:
23 May 2024 07:25 am
Published on:
22 May 2024 02:30 pm
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