तहसीलदार ने लगाया आरोप, कहा- न्यायालय के आदेश के बाद भी पुलिस नहीं कर रही गिरफ्तार, आईजी से की शिकायत
अंबिकापुर. सूरजपुर जिले के भैयाथान तहसील में पदस्थ तहसीलदार ने वहीं के नायब तहसीलदार पर जुलाई व नवंबर महीने में कार्यालय में घुसकर गाली-गलौज करने तथा कुर्सी सहित बाहर फेंकवा देने की धमकी देने का आरोप लगाया है। तहसीलदार का कहना है कि दोनों बार थाने में शिकायत करने के बाद भी नायब तहसीलदार के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई।
22 दिसंबर 2017 को विशेष न्यायाधीश (एट्रोसिटी एक्ट) सूरजपुर द्वारा नायब तहसीलदार के खिलाफ अपराध दर्ज कर 2 फरवरी तक अभियोग पत्र प्रस्तुत करने के निर्देश दिए गए थे। पुलिस द्वारा अब तक कार्रवाई आगे नहीं बढ़ाने पर तहसीलदार ने आईजी को आवेदन सौंपकर कार्रवाई कराने की मांग की है।
आईजी को सौंपे आवेदन में भैयाथान तहसीलदार तुलसीदास मरकाम पिता रामचंद्र 37 वर्ष ने बताया है कि 26 सितंबर 2016 से वे तहसील कार्यालय में पदस्थ थे। इसी दौरान उनका स्थानांतरण पे्रमनगर/ओडग़ी तहसील कर दिया गया। हाईकोर्ट से स्थगन आदेश लेकर पुन: वहीं सेवा देने लगा।
22 जुलाई 2017 को भैयाथान तहसील में पदस्थ नायब तहसीलदार सुरेश राय द्वारा दोपहर में काम ? करने के दौरान जातिसूचक गाली-गलौज कर कहा गया कि कुर्सी पर कैसे बैठ गए। कुर्सी सहित बाहर फेंकवा दूंगा। उन्होंने बताया कि स्टाफ के बीच-बचाव पर मामला शांत हुआ था।
वहीं 27 सितंबर 2017 को भटगांव तहसील में काम करने के दौरान सुबह 10.30 बजे नायब तहसीलदार द्वारा दोबारा गाली-गलौज कर कुर्सी से फेंकवाने की बात कही गई। उन्होंने बताया कि इस दौरान उपस्थित पक्षकार, स्टाफ विवेक पटेल व प्रसिद्ध राम द्वारा बीच-बचाव किया गया।
उन्होंने बताया कि दोनों मामले की लिखित शिकायत उन्होंने आजाक थाना सूरजपुर में 30 नवंबर को की गई। इसके बावजूद पुलिस द्वारा कोई कार्रवाई नहीं की गई। उन्होंने बताया कि 4 अगस्त 2017 को पहले मामले में कमिश्नर को लिखित शिकायत की गई फिर भी कोई पहल नहीं हुई।
विशेष न्यायाधीश ने अपराध पंजीबद्ध करने का पारित किया आदेश
तहसीलदार ने बताया कि पुलिस द्वारा कोई कार्रवाई नहीं किए जाने से क्षुब्ध होकर 19 दिसंबर 2017 को विशेष न्यायाधीश (एक्ट्रोसिटी एक्ट) सूरजपुर में धारा 156 (3) के तहत अपराध पंजीबद्ध करने आवेदन प्रस्तुत किया गया। इस मामले में न्यायालय द्वारा 22 दिसंबर को नायब तहसीलदार के विरुद्ध अपराध दर्ज कर 2 फरवरी 2018 तक अभियोग पत्र प्रस्तुत करने का आदेश पारित किया गया।
उन्होंने बताया कि न्यायालय द्वारा आदेश पारित किए जाने के 1 महीने बाद भी नायब तहसीलदार को आजाक थाने द्वारा गिरफ्तार नहीं किया गया। ऐसे में उसके हौसले बुलंद हैं। उन्होंने आईजी से आजाक थाना सूरजपुर को मामले में जल्द से जल्द अभियोग पत्र प्रस्तुत करने निर्देशित करने की मां की है।