Delhi Police online Exam: एसएससी की ओर से आयोजित दिल्ली पुलिस की परीक्षा में एक अभ्यर्थी को रिमोट सिस्टम के जरिए पेपर हल करवाते पकड़ा गया है।
अलवर। एसएससी की ओर से आयोजित दिल्ली पुलिस की परीक्षा में एक अभ्यर्थी को रिमोट सिस्टम के जरिए पेपर हल करवाते पकड़ा गया है। सेंटर पर तैनात वेन्यू मैनेजर ने इस मामले में रिपोर्ट दर्ज कराई है। पुलिस ने अभ्यर्थी को गिरफ्तार कर लिया है। साथ ही कंप्यूटर व अन्य सामग्री कब्जे में ले ली है। पकड़े गए अभ्यर्थी ने पुलिस को बताया कि मेरा पेपर हल हो जाता तो संबंधित व्यक्ति को राशि देता। राशि कितनी दी जानी थी, अभी पता नहीं चला है।
एसएससी दिल्ली पुलिस का ऑनलाइन एग्जाम 17 दिसंबर को मॉडर्न इंस्टीट्यूट ऑफ टेक्नोलॉजी एंड रिसर्च सेंटर (एमआइटीआरसी) कॉलेज में हो रहा था। दूसरी पारी की परीक्षा का समय अपराह्न तीन बजे से शाम साढ़े चार बजे तक था। परीक्षा आयोजित कराने वाली कंपनी के वेन्यू मैनेजर मोहित सिंह भी वहां तैनात थे। परीक्षा शुरू होने के बाद वे सर्वर रूम में बैठे थे। कुछ ही देर में ऑब्जर्वर पदम सिंह एक अभ्यर्थी को लैब नंबर 23 से बाहर लेकर आए। कारण पूछा तो ऑब्जर्वर ने बताया कि सिस्टम नंबर 112 पर जाकर देखें।
कंपनी के वेन्यू मैनेजर मोहित सिंह सिस्टम पर पहुंचे, तो वहां रिमोट सिस्टम से अपने आप पेपर हल हो रहा था। ऑब्जर्वर ने कंप्यूटर स्क्रीन की वीडियो बना इसकी सूचना एसएससी के क्षेत्रीय निदेशक को दी। साथ ही सदर थाना पुलिस को सूचित किया। पुलिस ने मौके पर पहुंचकर पूरा सिस्टम कब्जे में ले लिया और अभ्यर्थी सुरेंद्र को गिरफ्तार कर लिया।
पुलिस ने सुरेंद्र व एक अज्ञात व्यक्ति के खिलाफ 6 अलग-अलग धाराओं में केस दर्ज किया है। अब पुलिस यह पता कर रही है कि पेपर हल करवाने वाला कैंडिडेट किसी गिरोह का सदस्य तो नहीं है और इसके तार कहां-कहां जुड़े हैं। इस मामले की जांच सहायक पुलिस अधीक्षक वृत ग्रामीण शिवानी को सौंपी गई है।
एक्सपर्ट का मानना है कि परीक्षा केंद्र पर जिस तरह रिमोट सिस्टम चालू हुआ, उससे साफ है कि प्रायोजित तरीके से नकल की सुविधा दी गई। कंडीडेट का कंप्यूटर रिमोट पर तभी आ सकता है, जब कंप्यूटर में पहले से कोई वैसा सिस्टम या सॉफ्टवेयर लगा हो, जिसे उसकी आइडी से चलाया जा सकता है। यह परीक्षा की गोपनीयता भंग होने का मामला है।
सेंटर ऑब्जर्वर की ओर से की गई शिकायत के आधार पर केस दर्ज कर लिया गया है। मामले की जांच की जा रही है। पता किया जा रहा है कि इस मामले में कितनी राशि का लेन-देन हुआ है। अभी राशि के बारे में कंडीडेट ने जानकारी नहीं दी है।
-शिवानी, सहायक पुलिस अधीक्षक वृत ग्रामीण