Jitu Patwari- केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान के बयान पर कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष जीतू पटवारी ने राज्य सरकार को घेरा, बुलाई प्रेस वार्ता
Jitu Patwari- केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान की बेबाकी उनकी ही पार्टी और सरकार को भारी पड़ती दिख रही है। रविवार को भोपाल में एक कार्यक्रम में उन्होंने बच्चों की हालत पर चिंता प्रकट की। मंत्री धर्मेंद्र प्रधान ने कहा कि मध्यप्रदेश के डेढ़ करोड़ स्टूडेंट में से 50 लाख ने तो 5वीं क्लास तक एपल देखे ही नहीं होंगे। अंजीर तो शायद 10वीं के बाद ही आया हो। उन्होंने बच्चों को अंजीर, काजू खिलाने, दूध पिलाने की जरूरत जताई थी। इस मुद्दे पर कांग्रेस ने बीजेपी सरकार को फिर घेरा। पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने बाकायदा प्रेस कान्फ्रेंस बुलाकर राज्य सरकार पर निशाना साधा। उन्होंने कहा कि प्रदेश में बच्चों को कचरे में से खाना बीनना पड़ रहा है जबकि अधिकारी अपनी विजिट में लाखों के ड्राई फ्रूट उड़ा रहे हैं।
कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष जीतू पटवारी ने कहा कि आज से करीब 7 साल पहले मध्यप्रदेश में 1 करोड़ 60 लाख बच्चे स्कूलों में थे, और अब यह संख्या घटकर सिर्फ़ 1 करोड़ 4 लाख रह गई है। यानी पूरे 50 लाख बच्चे गायब हो चुके हैं। ऊपर से कमाल देखिए, तब बजट 7 हज़ार करोड़ था, अब वही बजट 37 हज़ार करोड़ का हो गया है। जीतू पटवारी ने पूछा- यह पैसा कहां जा रहा है? किसके विकास में लग रहा है?
प्रेस वार्ता में कांग्रेस प्रदेशाध्यक्ष जीतू पटवारी ने केंद्रीय मंत्री धर्मेंद्र प्रधान के बयान को लेकर उन्हें साधुवाद देते हुए बीजेपी सरकार पर तंज कसा। उन्होंने कहा कि प्रधान ने बीजेपी सरकार का असली चेहरा देश और मध्यप्रदेश की जनता के सामने उजागर किया है।
पीसीसी चीफ जीतू पटवारी ने कहा कि प्रदेश में बच्चों को नमक के साथ रोटी खानी पड़ती है। कचरे में से खाना बीनना पड़ता है और अधिकारी एक घंटे की विज़िट में डेढ़ लाख रुपए के ड्राई फ्रूट खा जाते हैं।
आपको याद है मिड डे मील में सूखी रोटी नमक से खिलाने का कांड भी आया था मध्यप्रदेश में…और एक तरफ आया था कि काजू किशमिश डेढ लाख रुपए के चार अधिकारी खा गए…दोनों घटनाएं मध्यप्रदेश में हुई थीं…विदिशा में कुछ दिनों पहले एक बच्ची कचरे में से खाना खा रही … मतलब मध्यप्रदेश की स्थिति क्या है…