MP Foundation Day: आर्मी के एडवांस एक्पेडिशन के दौरान पहाड़ पर चढ़े माउंटेनियर, 14600 फीट पर लगाया मप्र. स्थापना दिवस का पोस्टर..।
MP Foundation Day: मध्यप्रदेश के स्थापना दिवस से पहले ही उसका जलवा अभी से 14600 फीट की ऊंचाई पर मिराथांग ग्लेशियर पर बिखर रहा है। माउंटेनियर्स ने इतनी ऊंचाई पर मप्र स्थापना दिवस का पोस्टर लहराकर जज्बे और जुनून का संदेश दिया। यह ग्लेशियर भारत के पूर्वोत्तर राज्य अरुणाचल प्रदेश में स्थित है। इसकी ऊंचाई तक किसी का पहुंचाना किसी करिश्मे से कम नहीं है। यहां आने के लिए व्यक्ति को कड़ी मेहनत और कड़ा प्रशिक्षण लेना होता है।
उज्जैन के 40 वर्षीय अमन मिश्रा और हरियाणा के नूंह जिले के सूबेदार नेहपाल सिंह ने आर्मी के एडवांस एक्पेडिशन के दौरान माउंट गोरिचेन के बेस कैंप से शुरुआत कर हजारों फीट की ऊंचाई मापी। बता दें, हरियाणा के नायब सूबेदार नेहपाल सिंह अप्रैल 2002 में सेना में शामिल हुए थे। उन्होंने साल 2011 से पहाड़ों पर चढ़ना शुरू किया। अब तक वे देश के हर राज्य से करीब 3500 युवाओं को माउंटेनियर बना चुके हैं।
उल्लेखनीय है कि मिराथांग ग्लेशियर माउंटेनियरिंग प्रशिक्षण और आइस वॉल क्लाइंबिंग के लिए प्रसिद्ध है। यहां भारत की सबसे ऊंची 120 फीट की आइस वॉल है। यह क्षेत्र शांत और सुंदर है। इस जगह नीले रंग की झीलें और कई बर्फीले स्ट्रक्चर देखने को मिलते हैं। यह एनआईएमएस (National Institute of Mountaineering and Allied Sports) के बेसिक माउंटेनियरिंग कोर्स का हिस्सा है। इसमें आइस क्राफ्ट ट्रेनिंग होती है।
मिराथांग ग्लेशियर अरुणाचल प्रदेश के वेस्ट कामेंग जिले के उत्तरी भाग में तवांग के पास है। यह इलाका तिब्बत सीमा के पास है। इसकी ऊंचाई करीब 16,500-16,700 फीट यानी करीब 5 हजार मीटर है। यह इलाका टूरिस्ट और एडवेंचर स्पोर्ट्स के लिए आदर्श है। यहां ऊंचाई और मौसम को देखते हुए काफी सावधानी बरतनी पड़ती है।