ग्वालियर

CM Mohan Yadav: पीएम मोदी के इशारे पर ग्वालियर से उड़े विमानों ने पाकिस्तान में घुसकर तबाह किए आतंक के अड्डे

CM Mohan Yadav: एमपी सीएम डॉ. मोहन यादव ने ऐतिहासिक सागरताल में श्रमदान कर दिया जल संरक्षण का संदेश, फिर सुनाई इस धरती की शौर्य गाथा, बोले यहां के शूरवीरों ने पाकिस्तान में घुसकर खत्म किया आतंकवाद

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CM Mohan Yadav: मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने कहा, मध्यप्रदेश में ग्वालियर-चंबल का विशेष महत्व है। चंबल अंचल के जवान देश की सीमा की रक्षा के लिए सीना तानकर खड़े रहते हैं। दुश्मन की गोलियों के आगे आंख से आंख मिलाकर लड़ने की हिम्मत चंबल के शूरवीरों ने दिखाई है। ग्वालियर वह धरती है जहां से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के एक इशारे पर उड़े विमानों ने पाकिस्तान में घुसकर आतंकवादियों के अड्डे तबाह कर दिए थे।

यह बात उन्होंने (CM Mohan Yadav) सागरताल पर जनसभा को संबोधित करते हुए कही। इस अवसर पर उन्होंने सिंगल क्लिक के जरिए लगभग 179 करोड़ लागत के विकास कार्यों का भूमिपूजन एवं लोकार्पण किया। इससे पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. यादव के साथ केन्द्रीय संचार मंत्री एवं पूर्वोत्तर क्षेत्र विकास मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया(jyotiraditya scindia), मंत्री नारायण सिंह कुशवाह, तुलसीराम सिलावट व प्रद्युम्न सिंह तोमर व सांसद भारत सिंह कुशवाह सहित अन्य जनप्रतिनिधि ने कतारबद्ध खड़े होकर सागरताल (Sagartala) की साफ-सफाई के लिए श्रमदान किया। कार्यक्रम की अध्यक्षता केंद्रीय मंत्री ज्योतिरादित्य सिंधिया ने की। मंच पर मंत्री तुलसीराम सिलावट, भाजपा प्रदेश प्रवक्ता आशीष अग्रवाल व संत कृपाल सिंह सहित अन्य मौजूद रहे।

जल गंगा संवर्धन अभियान कार्यक्रम के दौरान मुख्यमंत्री (CM Mohan Yadav) ने कहा कि जैसे हमारे शरीर की धमनियां अपने रक्त के प्रवाह से हमको जीवन देत है, ऐसे ही यह पवित्र नदियां हमको जीवन के माध्यम से पृथ्वी की जीवंतता का परिचय दिलाती हैं। प्रधानमंत्री मोदी की दूरदर्शी सोच के अनुरूप मध्यप्रदेश सरकार द्वारा "जल गंगा संवर्धन अभियान" के माध्यम से प्रदेश भर की जल संरचनाओं को सहेजने का काम किया जा रहा है।
जल्द 33 हजार करोड़ लागत के

कार्यों के लिए होगा भूमिपूजन


मुख्यमंत्री ने कहा, जल्द ही 33 हजार करोड़ लागत की पार्वती-काली सिंध-चंबल परियोजना का भूमिपूजन किया जाएगा। इससे पेयजल व सिंचाई के लिए पानी उपलब्ध होगा। इससे उद्योग धंधों के लिए नए रास्ते खुलेंगे। भिण्ड जिले से लेकर संपूर्ण बुंदेलखंड के सर्वांगीण विकास के लिए 43 हजार करोड़ लागत की केन-बेतवा लिंक परियोजना को मूर्तरूप दिया जाएगा। इसमें से 12 हजार 600 करोड़ रुपए के टेंडर हो चुके हैं।

सिंधिया को दंडवत कर जेसी मिल का हक मांगा, सिंधिया ने किया समर्थन


मुख्यमंत्री से मांग की कि जेसी मिल के बंद हो जाने से ग्वालियर विधानसभा पिछड़ गई है। इसलिए जेसी मिल के मजदूरों को भी उनका हक मिले, इसके लिए प्रयास किए जाएं। इसके बाद उन्होंने मंच से सिंधिया को दंडवत प्रणाम भी किया। सिंधिया ने मंच से मुख्यमंत्री से आग्रह किया कि जेसी मिल के श्रमिकों की देनदारियों का भुगतान और प्लाट उज्जैन की तरह दिए जाएं। साथ ही ग्वालियर के विकास के लिए मैं भारत सिंह के साथ कंधे से कंधे मिलाकर नहीं उनके सामने खड़े होकर ग्वालियर में विकास कराऊंगा।

मंत्री ने मुख्यमंत्री के सामने कहा मेरी दक्षिण विस में कराएं विकास

कार्यक्रम के दौरान मंत्री नारायण सिंह कुशवाह ने मंच से कहा कि मेरी विधानसभा पिछले लम्बे समय से पिछड रही है। शासन व प्रशासन का ध्यान महाराज बाड़े पर तो जाता है, लेकिन मेरी दक्षिण विधानसभा पर ध्यान नहीं जाता। इसको लेेकर मैंने कलेक्टर से भी कहा है और आज आप से भी आग्रह कर रहा हूं कि मेरी दक्षिण विधानसभा में विशेष नजर रखें और विकास कार्य कराए जाए।

ऊर्जा मंत्री बोले-सागरताल पर नौकायन हो, मुख्यमंत्री ने कहा- बोट क्लब ले लो

मध्य प्रदेश ऊर्जा मंत्री प्रद्युम्न सिंह तोमर ने कहा कि सागर ताल एक हजार वर्ष पुराना है, जिसका संधारण सिंधिया परिवार ने किया था। सागरताल पर नौकायन की व्यवस्था कराई जाए, स्मार्ट सिटी के तहत चौपाटी सहित अन्य विकास कार्य भी कराए जाएं। इस पर मुख्यमंत्री ने कहा कि बोटिंग क्लब ले लो और जो मांगोगे वह भी हम आपके लिए देंगे, ग्वालियर के लिए कोई कोर कसर नहीं छोड़ेंगे। मुख्यमंत्री ने सरकार ने सागरताल के जीर्णोद्धार के लिए ढाई करोड़ की धनराशि मंजूर की है। साथ ही सागरताल में नौकायन सहित अन्य जरूरी कार्यों के लिए भी धनराशि उपलब्ध करने की बात कही।

सीएम मोहन यादव ने सागरतला में श्रमदान कर दिया जल संरक्षण का संदेश।

किले पर 3.5 किमी फसाड़ लाइटिंग, बाकी जल्द

सिंधिया ने मंच से कहा कि ग्वालियर किले पर अब तक 1 किमी की फसाड लाइटिंग थी,लेकिन अब 2.5 किमी की फसाड लाइटिंग से भी किला जगमगाएगा। किला 7.5 किमी तक है, इसमें से अब 3.5 किमी तक लाइट से रोशन होगा। बाकी की लाइटिंग किले की पीछे वाले हिस्से में इंडिगो कंपनी की सीएसआर मद से 15 करोड़ की लागत से की जाएगी। बता दें कि अब 3.5 किमी की लाइटिंग पर करीब साढ़े छह करोड़ खर्च किए जा चुके हैं।

Updated on:
29 Oct 2024 03:01 pm
Published on:
16 Jun 2024 08:56 am
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