स्वास्थ्य

पहली बार AI से बना वायरस, Bacterial Infection से लड़ाई में बड़ी कामयाबी- नई खोज

Bacterial Infection: वैज्ञानिकों ने ऐसा काम कर दिखाया है जो विज्ञान की दुनिया में नई इबारत लिखता है। पहली बार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की मदद से एक वायरस का पूरा जीनोम बनाया गया है।

2 min read
Sep 21, 2025
AI created virus for treatment for bacterial infection|फोटो सोर्स – Freepik

Bacterial Infection: कैलिफोर्निया के स्टैनफोर्ड और आर्क इंस्टीट्यूट के वैज्ञानिकों ने ऐसा काम कर दिखाया है जो विज्ञान की दुनिया में नई इबारत लिखता है। पहली बार आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस (एआई) की मदद से एक वायरस का पूरा जीनोम बनाया गया है। अब तक एआई से प्रोटीन या छोटे-छोटे जीन सिस्टम तो डिजाइन किए जाते थे, लेकिन पूरा जीनोम बनाना कहीं ज्यादा चुनौतीपूर्ण था।

ये भी पढ़ें

H3N2 वायरल इंफेक्शन का बढ़ रहा खतरा, डॉक्टर से जानिए कितना खतरनाक है ये

चुना गया खास वायरस

इसके लिए वैज्ञानिकों ने बैक्टीरियोफेज फाई-एक्स-174 वायरस को चुना। यह वायरस ई. कोली बैक्टीरिया को संक्रमित कर उसे खत्म कर सकता है। दिलचस्प बात यह है कि यही वायरस 1977 में दुनिया का पहला पूरी तरह सीक्वेंस किया गया जीनोम था और 2003 में लैब में कृत्रिम रूप से बनाया गया था। अब यह पहला ऐसा वायरस बन गया है जिसका जीनोम एआई द्वारा डिजाइन किया गया है।

जीनोम क्या होता है?

जीनोम किसी भी जीव का संपूर्ण नक्शा होता है, जिसमें यह जानकारी होती है कि वह जीव कैसे बढ़ेगा, अपनी कॉपी बनाएगा और जिंदा रहेगा।

हजारों वायरस से सीखी एआई ने संरचना

वैज्ञानिकों ने इसके लिए इवो नामक एआई मॉडल का इस्तेमाल किया। इसे हजारों वायरस के जीनोम पर ट्रेन किया गया ताकि यह फाई-एक्स-174 की संरचना समझ सके। इसके बाद एआई से कहा गया कि वह इस वायरस के नए-नए डिज़ाइन बनाए। एआई ने हजारों संभावित जीनोम तैयार किए, जिनमें से वैज्ञानिकों ने चुने हुए डिज़ाइनों को लैब में टेस्ट किया।

लैब में सफल प्रयोग

जब इन डिजाइनों का डीएनए बनाकर ई. कोली पर टेस्ट किया गया, तो एआई द्वारा बनाए गए 16 नए वायरस सक्रिय पाए गए। इनमें सैकड़ों ऐसे बदलाव मौजूद थे, जो प्रकृति में कभी नहीं देखे गए थे। आश्चर्यजनक रूप से एक वायरस डिज़ाइन ने दूसरे वायरस से एक प्रोटीन उधार लेकर उसे अपने ढांचे में फिट भी कर लिया।

बैक्टीरिया की रक्षा भी तोड़ी

टेस्टिंग में यह भी देखा गया कि जब ई. कोली बैक्टीरिया ने सामान्य वायरस से खुद को बचाना शुरू किया, तो एआई-डिजाइन किए गए वायरस ने उनकी सुरक्षा प्रणाली को तोड़ डाला।

नई दवाओं की खोज का रास्ता

एक्सपर्ट्स का मानना है कि यह खोज बायोटेक्नोलॉजी के नए युग की शुरुआत है। यह तकनीक भविष्य में नई खोजों और दवाइयों के विकास की गति को कई गुना बढ़ा सकती है।

ये भी पढ़ें

Chikungunya Virus in China : मच्छरों के खिलाफ चीन ने उतारे सैनिक, ड्रोन, मछलियां, जानिए छोटे से जीव से सेहत को है कितना बड़ा खतरा

Also Read
View All

अगली खबर